जयपुर: राजस्थान में गहलोत सरकार द्वारा विधानसभा में हाल ही में पारित किए गए स्वास्थ्य के अधिकार (आरटीएच) अधिनियम के विरोध में हजारों डॉक्टर सड़कों पर उतर आए हैं।
मंगलवार को जयपुर में डॉक्टरों ने एक विशाल रैली को आयोजित किया है। इस दौरान हजारों की संख्या में डॉक्टर हाथों में पोस्टर, बैनर लेकर सरकार के खिलाफ अपना विरोध जताते नजर आए। राइट टू हेल्थ बिल को लेकर निजी डॉक्टरों की मांग है कि सरकार इस बिल को वापस ले लें।
इंडिया टुडे की रिपोर्ट के अनुसार, मंगलवार को रात दो बजे से पांच बजे तक आईएमए के अध्यक्ष के आवास पर डॉक्टरों और मुख्य सचिव उषा शर्मा के बीच बातचीत का सिलसिला चला। बैठक में प्रमुख सचिव अनिल अरोड़ा व चिकित्सा शिक्षा सचिव प्रमुख सचिव टी रविकांत भी मौजूद थे।
जानकारी के मुताबिक, डॉक्टरों की तीन शर्तें हैं जिन पर सहमति बनी हैं। पहली ये की अस्पताल आरटीएच लागू करेंगे जिन्हें सरकार से मदद मिली है। जो लोग आरटीएच लागू करना चाहते हैं वे आगे बढ़ सकते हैं।
दूसरा- 50 बिस्तरों से कम वाले अस्पताल में आरटीएच लागू नहीं किया जाएगा। तीसरा भविष्य में अगर कोई संशोधन करना होता है तो उसमें इंडियन मेडिकल एसोसिएशन (आईएमए) के दो प्रतिनिधि शामिल किए जाएंगे।