नई दिल्ली: ब्रिटेन के लंदन में भारतीय उच्चायोग के सामने उग्र प्रदर्शन और हमले के मामले में राष्ट्रीय जांच एजेंसी जांच करेगी। जानकारी के अनुसार, गृह मंत्रालय ने 13 अप्रैल को मामले की जांच एनआईए को सौंप दी थी।
उच्चायोग के बाहर हुए प्रदर्शन के तार पाकिस्तान और खालिस्तान से गहरे संबंध होने की बात कही जा रही है। इसके बाद मामले में स्पेशल सेल द्वारा 23 मार्च को शिकायत दर्ज करने के बाद एनआईए को इसकी जांच करने का आदेश दिया गया है।
लंदन उच्चायोग पर हुए प्रदर्शन की शिकायत में आईपीसी की धारा 109/147/148/149/120-बी/448/452/325 के तहत यूएपीए की धारा 13, सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान की रोकथाम अधिनियम की धारा 3(1) और अपमान की रोकथाम की धारा 2 के तहत मामला दर्ज किया गया है।
दिल्ली पुलिस की तरह ही एनआईए ने भी राष्ट्रीय सम्मान अधिनियम, 1971 के तहत मामला दर्ज किया है।
गौरतलब है कि लंदन स्थित भारतीय उच्चायोग की इमारत के सामने 19 अप्रैल को खालिस्तानी समर्थकों द्वारा विरोध प्रदर्शन किया गया था। इस प्रदर्शन में भारत के खिलाफ नारे लगाए गए थे और तिरंगे का अपमान किया गया था। खालिस्तानियों के उग्र प्रदर्शन भारतीय उच्चायोग के दो अधिकारियों को भी गंभीर रूप से चोटें आई थी।
जानकारी के अनुसार, दिल्ली पुलिस की प्राथमिकी में सिख चरमपंथी अवतार सिंह उर्फ खंडा, गुरचरण सिंह और जसवीर सिंह को प्रमुख संदिग्धों के रूप में नामित किया गया है।
प्राथमिकी में स्पष्ट उल्लेख किया गया है कि खंडा ने खालिस्तानी समर्थकों को इमारत में दाखिल होने के लिए भड़काया था। वहीं, जसवीर सिंह, खंडा, गुरचरण सिंह तीनों पर आरोप है कि उन्होंने भारतीय उच्चायोग में अधिकारियों पर हमला किया और राष्ट्रीय ध्वज का अपमान किया।
घटना के खिलाफ भारतीय समुदाय का फूटा था गुस्सा
मार्च महीने में भारतीय उच्चायोग के बाहर हुए हंगामे के सामने आने के बाद लंदन में रह रहे भारतीयों ने इसका खासा विरोध किया था। एक ओर जहां भारत सरकार ने मामले का संज्ञान लेते हुए इस पर जांच बिठाई है।
वहीं, भारतीय समुदाय ने खालिस्तानियों की इस घटना की निंदा करते हुए उच्चायोग के बाहर एकत्रित होने का फैसला किया था।
खालिस्तानियों के विरोध प्रदर्शन के बाद भारी संख्या में भारतीय समुदाय के लोग लंदन स्थित उच्चायोग के बार इकट्ठा हुए और भारत के समर्थन में नारे लगाए। इस दौरान लोगों ने हाथों में तिरंगा ले रखा था और भारत के समर्थन में नारे लगा रहे थे।