जयपुरः राजस्थान कांग्रेस विधायक सचिन पायलट ने केंद्र सरकार पर हमला बोला है। पायलट ने कहा कि मोदी सरकार ने देश को धोखा दिया है। उन्होंने कहा कि राज्यसभा में सरकार के पास बहुमत नहीं था।
राज्यसभा के उपसभापति हरिवंश ने इसका दुरुपयोग किया है। सरकार ने किसानों को धोखा दिया। आज देश भर में किसान अपना समान जला रहे हैं। लेकिन मोदी सरकार पर कोई असर नहीं है। जनता जल्द ही इसका जवाब देगी। पंजाब, राजस्थान सहित देश भर में किसान सड़क पर उतर गए हैं।
सचिन पायलट ने कहा कि राज्यसभा में बिल पारित करते हुए जिस प्रक्रिया का पालन किया गया उससे पता चलता है कि केंद्र सरकार के पास बहुमत नहीं था। जब राज्यसभा में वोटरों का विभाजन मांगा गया तब उपसभापति ने इसे अनसुना कर जबरदस्ती से बिल पारित करवाया। इस कानून की मांग किसने की थी? या तो किसान कहते कि हमारी ये मांग है तो आप उसकी मांग को पूरा करते। जब आप अकाली दल की कैबिनेट मंत्री को समझा नहीं पाए। आप किसानों को क्या समझा पाएंगे।
केन्द्र सरकार ने चुनौतीपूर्ण समय में किसानों के साथ विश्वासघात किया: पायलट
कांग्रेस नेता सचिन पायलट ने कृषि संबंधी विधेयकों को लेकर केन्द्र सरकार पर निशाना साधते हुए सोमवार को कहा कि सरकार ने एक चुनौतीपूर्ण समय में किसानों के साथ विश्वासघात किया है। पायलट ने सोमवार को यहां संवाददाताओं से बातचीत में कहा 'इस विधेयक का विरोध पूरे देश में हो रहा है। खुद राजग के घटक दल इसका विरोध कर रहे है और कांग्रेस ने पूरे देश में किसानों साथ खड़े होकर लड़ने का निर्णय किया। अब इसको हम आगे भी लेकर जायेंगे लेकिन मैं मानता हूं कि केन्द्र सरकार ने एक चुनौतीपूर्ण समय में किसानों के साथ विश्वासघात किया है।'
उन्होंने कहा, 'केन्द्र सरकार का सबसे पुराना घटक दल है अकाली दल । उन्होंने भी इसका विरोध किया (और सरकार तथा गठबंधन छोड़ दिया) । जब आप अकाली दल के सांसदों और कैबिनेट मंत्री को नहीं समझा पाये तो आप किसानों को क्या समझायेंगे।' पूर्व उपमुख्यमंत्री ने कहा कि विधेयकों को जानबूझ कर ऐसे समय में लाया गया है जब अर्थव्यवस्था चौपट हो रही है। उन्होंने कहा कि कृषक और किसान संबंधी सभी लोगों को इस विधेयक से हानि हो रही है और यह जानते हुए भी जानबूझ कर इसे पारित किया गया।
उन्होंने कहा कि हमारी पार्टी यह मानती है कि कृषि में निवेश हो, किसानों को उनकी उपज के बेहतर दाम मिले लेकिन आप एपीएमसी और मंडी को समाप्त कर एक नई व्यवस्था चालू करेंगे जबकि चंद उद्योगपति इस पर एकाधिकार कर लेंगे। इसका विरोध पूरे देश में हो रहा है और मैं समझता हूं कि अंतिम दम तक कांग्रेस पार्टी इस कानून का विरोध करेगी और किसानों के न्याय के लिये हम कोई कसर छोडने वाले नहीं हैं।