उज्जैन: श्री महाकालेश्वर मंदिर में भस्मार्ती करने आए दिल्ली के श्रद्धालुओं को नकली परमिशन पकड़ा कर ठगी की गई है। मंदिर समिति के आवेदन पर महाकाल थाना पुलिस ने मृत्युंजय कुमार और पवन कुमार नामक दो युवकों के विरुद्ध धारा 420 के तहत प्रकरण दर्ज किया है। सीएसपी महाकाल क्षेत्र ओपी मिश्रा के अनुसार दोनों युवकों की तलाश की जा रही है।
सीएसपी मिश्रा के अनुसार महाकाल मंदिर समिति की ओर से एक पत्र दिया गया था जिसमें दिल्ली से आए श्रद्धालु नितेश भारद्वाज, मोहित अरोड़ा एवं निशांत, जो कि उत्तम नगर के निवासी हैं। उन्होंने मंदिर समिति में लिखित शिकायत में आरोप लगाया है कि तीनो श्रद्धालु उज्जैन में कालसर्प पूजन कराने आए थे। यहां पर उन्हें पवन कुमार नामक व्यक्ति ने भस्मारती अनुमति जारी करने के लिए मृत्युंजय कुमार नामक व्यक्ति का मोबाइल नंबर दिया था।
चर्चा के बाद मृत्युंजय कुमार द्वारा 4500 रुपये लेकर तीनों श्रद्धालुओं की भस्म आरती अनुमति जारी करवाई गई। तीनों श्रद्धालु जब भस्मारती अनुमति लेकर मंदिर पहुंचे तो जांच के दौरान मंदिर समिति के कर्मचारियों ने स्कैनर से स्कैन न होने पर क्यूआर कोड को नकली पाया। उक्त अनुमति किसी अन्य श्रद्धालु को जारी की गई थी। अनुमति से कॉपी कर श्रद्धालुओं के नाम डालकर फर्जी रसीद बना दी गई थी ।
दिल्ली के श्रद्धालुओं ने इसकी लिखित शिकायत मंदिर समिति को की थी। जिस पर मंदिर समिति ने मृत्युंजय कुमार और पवन कुमार नामक दो युवकों के विरुद्ध धारा 420 के तहत महाकाल थाने में प्रकरण दर्ज कराया है। भगवान श्री महाकालेश्वर की भस्म आरती में प्रतिदिन देश-विदेश से बड़ी संख्या में श्रद्धालु शामिल होने के लिए आते हैं।
महाकाल लोक बनने के बाद दर्शनार्थियों की संख्या में तीन से चार गुना वृद्धि हुई है। इसी कारण भस्म आरती में दर्शनार्थियों की संख्या बढ़ने से उन्हें ऑनलाइन परमिशन नहीं मिल पाती है। इसी का फायदा उठाते हुए कुछ लोग श्रद्धालुओं के साथ लगातार ठगी करने में लगे हुए हैं। इससे पूर्व भी मंदिर समिति ने इसी वर्ष में अब तक तीन मामले महाकाल थाना में दर्ज करवाए हैं।