RBI Monetary Policy LIVE 2024: भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने गुरुवार को आम लोगों को राहत दी है। ईएमआई में कोई बदलाव नहीं किया है। आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने कहा, " मौद्रिक नीति समिति ने निर्णय लिया कि रेपो रेट को यथावत रखते हुए उसमें कोई बदलाव नहीं किया है। रेपो रेट को 6.5 फीसदी पर बरकरार रखने का निर्णय लिया गया है।" भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने बृहस्पतिवार को अगले वित्त वर्ष 2024-25 के लिए सकल घरेलू उत्पाद की वृद्धि दर सात प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया है, जो चालू वित्त वर्ष के 7.3 प्रतिशत के अनुमान से कम है। आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने द्विमासिक मौद्रिक नीति की घोषणा करते हुए कहा कि ग्रामीण मांग में तेजी जारी है, शहरी खपत मजबूत बनी हुई है और पूंजीगत व्यय में वृद्धि के कारण निवेश चक्र रफ्तार पकड़ रहा है। उन्होंने कहा कि निजी निवेश में भी सुधार के संकेत दिख रहे हैं।
वित्त वर्ष 2024-25 के लिए सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) की वृद्धि दर सात प्रतिशत रहने का अनुमान है। जून और सितंबर तिमाही में आर्थिक वृद्धि दर क्रमशः 7.2 प्रतिशत और 6.8 प्रतिशत रहेगी। वहीं दिसंबर और मार्च तिमाही में इसके सात प्रतिशत और 6.9 प्रतिशत रहने का अनुमान है।
दास ने कहा कि घरेलू आर्थिक गतिविधियां मजबूत बनी हुई हैं। राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय (एनएसओ) के अनुमान के अनुसार चालू वित्त वर्ष में वृद्धि दर 7.3 प्रतिशत है। दास ने कहा, ‘‘ 2023-24 की गति 2024-25 वित्त वर्ष में भी जारी रहने की उम्मीद है।’’
जानें 20 बड़ी मुख्य बातेंः
1ः भारतीय रिजर्व बैंक की मौद्रिक नीति समिति ने लगातार छठी बार नीतिगत दर रेपो को 6.5 प्रतिशत पर कायम रखा
2ः वैश्विक स्तर पर अनिश्चतता के बीच देश की अर्थव्यवस्था मजबूती दिखा रही है, एक तरफ आर्थिक वृद्धि बढ़ रही है, दूसरी ओर मुद्रास्फीति में कमी आई है
3ः मौद्रिक नीति समिति (एमपीसी) ने मुद्रास्फीति को काबू में रखने और आर्थिक वृद्धि को गति देने के लिए उदार रुख को वापस लेने का रुख बरकरार रखा है
4ः वृद्धि की गति तेज हो रही है और यह अधिकतर विश्लेषकों के अनुमानों से आगे निकल रही है
5ः एमएसएफ (सीमांत स्थायी सुविधा दर) और बैंक दर 6.75 प्रतिशत पर बरकरार
6ः खाद्य पदार्थों की कीमतों में अनिश्चितता का मुख्य मुद्रास्फीति पर प्रभाव जारी
7ः 2024 में वैश्विक वृद्धि दर के स्थिर रहने का अनुमान
8ः एमपीसी मुद्रास्फीति को चार प्रतिशत के लक्ष्य पर रखने को प्रतिबद्ध
9ः आर्थिक गतिविधियों की रफ्तार 2024-25 में भी जारी रहने की उम्मीद
10ः अंतरिम बजट के अनुसार सरकार राजकोषीय मजबूती के रास्ते पर चल रही है
11ःऋण बाजार में नीतिगत दर में बदलाव का पूरा प्रभाव अभी तक नहीं पहुंचा है
12ः रिजर्व बैंक का अनुमान, अगले वित्त वर्ष 2024-25 में आर्थिक वृद्धि दर सात प्रतिशत रहेगी
13ः आरबीआई का चालू वित्त वर्ष के लिए खुदरा मुद्रास्फीति 5.4 प्रतिशत, 2024-25 के लिए 4.5 प्रतिशत रहने का अनुमान
14ः ग्रामीण मांग में तेजी जारी है, शहरी खपत मजबूत बनी हुई है
15ः भू-राजनीतिक तनाव बढ़ने से आपूर्ति श्रृंखला प्रभावित हो रही है और जिंस कीमतों खासकर कच्चे तेल पर दबाव पड़ रहा है
16ः हम उम्मीद करते हैं कि विनियमन के दायरे में आने वाली इकाइयां अनुपालन की प्रकृति, उपभोक्ता हितों के संरक्षण को सर्वोच्च प्राथमिकता देंगी
17ः भारत विदेश से भेजे जाने वाले धन के मामले में सबसे आगे रहेगा
18ः वित्त वर्ष 2023-24 की अक्टूबर-दिसंबर तिमाही में भारत का सेवा निर्यात मजबूत रहा
19ः भारत का विदेशी मुद्रा भंडार 622.5 अरब डॉलर पर, सभी विदेशी प्रतिबद्धताओं को पूरा करने के लिए पर्याप्त
20ः वित्त वर्ष 2023-24 में भारतीय रुपये में सबसे कम उतार-चढ़ाव देखा गया। विनिमय दर काफी स्थिर बनी हुई है।