One Nation One Subscription scheme: केंद्रीय मंत्रिमंडल ने ‘वन नेशन वन सब्सक्रिप्शन’ योजना को सोमवार को मंजूरी दे दी। यह योजना शोध लेखों और पत्रिका प्रकाशन तक देशव्यापी पहुंच प्रदान करने के लिए है। एक नयी केंद्रीय क्षेत्र योजना के रूप में तीन कैलेंडर वर्षों, 2025, 2026 और 2027 के लिए ‘वन नेशन वन सब्सक्रिप्शन’ के लिए कुल लगभग 6,000 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं।
एक आधिकारिक बयान में कहा गया है, ‘‘ ‘वन नेशन वन सब्सक्रिप्शन’ भारत के युवाओं के लिए गुणवत्तापूर्ण उच्च शिक्षा तक पहुंच को अधिकतम करने के लिए शिक्षा के क्षेत्र में पिछले एक दशक में भारत सरकार द्वारा शुरू की गई पहलों की सीमा और पहुंच को आगे बढ़ाएगा। यह अनुसंधान और विकास को बढ़ावा देने और सरकारी विश्वविद्यालयों, कॉलेज, शोध संस्थानों और अनुसंधान एवं विकास प्रयोगशालाओं में अनुसंधान और नवाचार की संस्कृति को बढ़ावा देने के लिए एएनआरएफ पहल का पूरक होगा।’’
‘वन नेशन वन सब्सक्रिप्शन’ योजना का लाभ केंद्र या राज्य सरकार द्वारा प्रबंधित सभी उच्च शिक्षण संस्थानों और केंद्र सरकार के अनुसंधान और विकास संस्थानों को सूचना एवं पुस्तकालय नेटवर्क (आईएनएफएलआईबीएनईटी) द्वारा समन्वित एक राष्ट्रीय ‘सब्सक्रिप्शन’ के माध्यम से प्रदान किया जाएगा।
आईएनएफएलआईबीएनईटी विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) का एक स्वायत्त अंतर-विश्वविद्यालय केंद्र है। उच्च शिक्षा विभाग के पास एक एकीकृत पोर्टल 'वन नेशन वन सब्सक्रिप्शन' होगा, जिसके माध्यम से संस्थान पत्रिकाओं तक पहुंच बना सकेंगे।
मंत्रिमंडल ने अटल इनोवेशन मिशन को मार्च, 2028 तक जारी रखने को मंजूरी दी
केंद्रीय मंत्रिमंडल ने सोमवार को नीति आयोग की प्रमुख पहल अटल इनोवेशन मिशन (एआईएम) को 31 मार्च, 2028 तक जारी रखने की मंजूरी दी। इसमें कार्य का दायरा बढ़ाते हुए कुल 2,750 करोड़ रुपये के बजट के साथ इसकी मंजूरी दी गयी है। एक आधिकारिक बयान के अनुसार, एआईएम 2.0 विकसित भारत की दिशा में एक कदम है।
इसका उद्देश्य भारत के जीवंत नवोन्मेष और उद्यमिता परिवेश का बढ़ाना और मजबूत करना है। बयान में कहा गया है कि अटल टिंकरिंग लैब्स (एटीएल) और अटल इनक्यूबेशन सेंटर (एआईसी) जैसी एआईएम 1.0 की उपलब्धियों के साथ अटल इनोवेशन मिशन का दूसरा चरण मिशन के दृष्टिकोण में गुणात्मक बदलाव का प्रतीक है।
इसमें कहा गया है, ‘‘जहां अटल इनोवेशन मिशन के पहले चरण में नवोन्मेष के ऐसे बुनियादी ढांचे का निर्माण करना था, जिससे देश के तत्कालीन शुरुआती परिवेश को मजबूती मिले, वहीं दूसरे चरण में नये उपायों को शामिल किया गया है ताकि परिवेश में जो कमियां थी, उसे पूरा किया जा सके...।’’
इसमें केंद्र तथा राज्य सरकारों, उद्योग, शिक्षा और समुदाय के माध्यम से सफलताओं को बढ़ाने के लिए तैयार की गई नई पहल शामिल है। अटल इनोवेशन मिशन के दूसरे चरण को देश में नवोन्मेष और उद्यमिता परिवेश को कच्चे माल और उत्पादन तथा उत्पादन गुणवत्ता बढ़ाकर मजबूत करने के लिए तैयार किया गया है।
बयान में कहा गया है कि वैश्विक नवोन्मेष सूचकांक में भारत 39वें स्थान पर है और यहां दुनिया के तीसरा सबसे बड़ा स्टार्टअप परिवेश है। एआईएम के अगले चरण से भारत की वैश्विक प्रतिस्पर्धी क्षमता में और वृद्धि होने की उम्मीद है। बयान के अनुसार, अटल इनोवेशन मिशन को आगे जारी रखने से सभी क्षेत्रों में बेहतर नौकरियां, नवीन उत्पाद और उच्च प्रभाव वाली सेवाएं सृजित करने में मदद मिलेगी।