नई दिल्लीः आईफोन बनाने वाली कंपनी एप्पल ने जुलाई-सितंबर तिमाही के दौरान भारत में अब तक का रिकॉर्ड राजस्व कमाया है। यह दुनिया के दूसरे सबसे बड़े स्मार्टफोन बाजार में मजबूत वृद्धि का संकेत है, जहां प्रौद्योगिकी दिग्गज खुदरा उपस्थिति एवं स्थानीय विनिर्माण को बढ़ा रहा है। कंपनी ने बयान में कहा कि एप्पल ने इस तिमाही में सालाना आधार पर आठ प्रतिशत अधिक कुल 102.5 अरब अमेरिक डॉलर का राजस्व दर्ज किया। साथ ही नए आईफोन 17 को दुनिया भर में अच्छी प्रतिक्रिया मिल रही है जिससे अक्टूबर-दिसंबर तिमाही में मजबूत प्रदर्शन की उम्मीद है।
एप्पल के मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) टिम कुक ने कहा कि कंपनी ने अधिकतर बाजारों में वृद्धि दर्ज की है। अमेरिका, कनाडा, लैटिन अमेरिका, पश्चिमी यूरोप, पश्चिम एशिया, जापान, कोरिया और दक्षिण एशिया सहित कई बाजारों में जुलाई-सितंबर तिमाही में रिकॉर्ड राजस्व दर्ज किया गया है। कुक ने कहा, ‘‘ हमने उभरते बाजारों में जुलाई-सितंबर तिमाही में राजस्व का रिकॉर्ड बनाया।
भारत में भी सर्वकालिक अधिकतम राजस्व दर्ज किया।’’ खुदरा क्षेत्र के बारे में उन्होंने कहा कि कंपनी अपने अब तक के सर्वश्रेष्ठ उत्पाद ‘लाइनअप’ के साथ वर्ष के सबसे व्यस्त समय में प्रवेश कर रही है। कुक ने बताया कि हाल ही में घोषित मैकबुक प्रो व आईपैड प्रो के साथ पावरहाउस एम5 चिप के साथ, ‘‘ हम छुट्टियों के मौसम में अपने सबसे असाधारण उत्पादों को साझा करने के लिए उत्साहित हैं।’’
उन्होंने कहा, ‘‘ पिछले कुछ महीनों में हमने भारत और संयुक्त अरब अमीरात जैसे उभरते बाजारों में नए बिक्री केंद्र खोले हैं तथा अमेरिका और चीन में नए स्थान लिए हैं।’’ एप्पल के मुख्य वित्तीय अधिकारी (सीएफओ) केवन पारेख ने कहा कि आईफोन का कुल राजस्व 49 अरब अमेरिकी डॉलर रहा, जो पिछले साल की तुलना में छह प्रतिशत अधिक है। इसमें आईफोन 16 का सबसे अधिक योगदान रहा।
मारुति सुजुकी का जुलाई-सितंबर तिमाही में शुद्ध लाभ आठ प्रतिशत बढ़कर 3,349 करोड़ रुपये
मारुति सुजुकी इंडिया लिमिटेड का जुलाई-सितंबर तिमाही में एकीकृत शुद्ध लाभ आठ प्रतिशत बढ़कर 3,349 करोड़ रुपये हो गया। वाहन विनिर्माता कंपनी को पिछले वर्ष इसी तिमाही में मुनाफा 3,102.5 करोड़ रुपये रहा था। मारुति सुजुकी इंडिया ने शुक्रवार को शेयर बाजार को दी सूचना में बताया कि उसकी परिचालन आय 42,344.2 करोड़ रुपये रही जबकि एक साल पहले इसी अवधि में यह 37,449.2 करोड़ रुपये थी। कंपनी का कुल खर्च सालाना आधार पर 33,879.1 करोड़ रुपये से बढ़कर 39,018.4 करोड़ रुपये हो गया।
फोर्ड नई पीढ़ी के इंजन बनाने के लिए चेन्नई संयंत्र में 3,250 करोड़ रुपये का करेगी निवेश
अमेरिकी वाहन विनिर्माता कंपनी फोर्ड ने नई पीढ़ी के इंजन बनाने के लिए अपने चेन्नई संयंत्र में 3,250 करोड़ रुपये का निवेश करने की शुक्रवार को जानकारी दी। मोटर वाहन विनिर्माता ने कहा कि उसने तमिलनाडु सरकार के साथ एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए हैं जिसमें ‘‘ रणनीतिक दिशा को रेखांकित किया गया है जो फोर्ड+ योजना के तहत भारत की विनिर्माण विशेषज्ञता का लाभ उठाती है।’’
इससे पहले कंपनी 2021 में भारतीय बाजार से बाहर निकल गई थी। फोर्ड ने बयान में कहा कि इस वर्ष के अंत में शुरू होने वाली परियोजना में तैयारी और निवेश के बाद चेन्नई संयंत्र की वार्षिक क्षमता 2.35 लाख इंजन होगी। इसमें 2029 में उत्पादन शुरू होने की उम्मीद है।
बयान में कहा गया, ‘‘ 3,250 करोड़ रुपये के प्रारंभिक अपेक्षित निवेश के साथ इस परियोजना से 600 से अधिक नौकरियों के साथ-साथ पूरे उद्योग में अप्रत्यक्ष नौकरियों के सृजन की उम्मीद है।’’ फोर्ड मोटर कंपनी के अध्यक्ष (अंतरराष्ट्रीय बाजार समूह) जेफ मैरेंटिक ने कहा, ‘‘ हमें अपनी योजनाओं को आगे बढ़ाने और फोर्ड के विनिर्माण नेटवर्क में चेन्नई संयंत्र की महत्वपूर्ण भूमिका की पुष्टि करते हुए खुशी हो रही है।’’