जलवायु परिवर्तन सम्मेलन से पहले लंदन में जुटे प्रदर्शनकारी
By भाषा | Updated: October 29, 2021 21:56 IST2021-10-29T21:56:50+5:302021-10-29T21:56:50+5:30

जलवायु परिवर्तन सम्मेलन से पहले लंदन में जुटे प्रदर्शनकारी
लंदन, 29 अक्टूबर (एपी) स्कॉटिश शहर ग्लासगो में संयुक्त राष्ट्र जलवायु सम्मेलन शुरू होने से पहले जीवाश्म ईंधन के इस्तेमाल के विरूद्ध आवाज बुलंद करने के लिए प्रदर्शनकारी शुक्रवार को लंदन के ऐतिहासिक वित्तीय जिले में जुटने लगे।
लंदन में यह प्रदर्शन उस वैश्विक प्रदर्शन का हिस्सा है जो नेताओं के संयुक्त राष्ट्र जलवायु परिवर्तन सम्मेलन के लिए ग्लासगो में जुटने से पहले किया जा रहा है। इस प्रदर्शन में स्वीडिश पर्यावरण कार्यकर्ता ग्रेटा थनबर्ग भी शमिल होने वाली हैं। इस सम्मेलन को सीओपी -26 भी कहा जाता है।
कई पर्यावरणविद् 31 अक्टूबर से 12 नवंबर तक चलने वाले इस सम्मेलन को जलवायु परिवर्तन के विरूद्ध संघर्ष की दिशा को बदलने के लिए दुनिया का आखिरी मौका बता रहे हैं।
लंदन में सुबह प्रदर्शन लॉयड्स के बीमा बाजार स्थल के बाहर क्लाइमेट जस्टिस मेमोरियल से शुरू हुआ। प्रदर्शनकारी मांग कर रहे हैं कि वैश्विक वित्तीय प्रणाली जीवाश्म ईंधन में निवेश करना बंद करे।
उन्होंने वहां लाल फूल चढाये और वहां लिखा था ‘ उठिये, याद कीजिए और विरोध कीजिए।’’ वे लंदन में विभिन्न स्थानों की ओर गये और उनके साथ पुलिसकर्मी भी थे। जब वे वित्तीय कंपनी मैक्वायर कैपिटल के कार्यालय की ओर बढ़ रह थे तब वे नारा लगा रहे थे ‘ हमारा भविष्य सुरक्षित कीजिए न कि प्रदूषण फैलाइए।’’
कंपनी के भवन के बाहर पांच महिलाएं मौत की चेतावनी देने वाले विशेष परिधान में थी और उनके हाथों में झांझ मंजीरे थे।
इंटरनेशनल बैंक स्टैंडर्ड चार्टर्ड उनके प्रदर्शन का मुख्य स्थल होने वाला है। बाद में वे बैंक ऑफ इंग्लैंड भी जायेंगे। ब्रिटिश बैंक लॉयड्स और बर्कले जाने की भी उनकी योजना है।
एशिया एवं प्रशांत क्षेत्र में जलवायु परिवर्तन की मार झेल रहे लोग भी प्रदर्शनकारियों में शामिल हैं जिनका मानना है कि ये वित्तीय संस्थान उन वित्तीय गतिविधियों के लिए जिम्मेदार हैं जिनसे समुद्र के बढ़ते स्तर से लेकर उनके आवास स्थल तक का विनाश हो रहा है।
दुनिया भर में ऐसे प्रदर्शन हो रहे हैं। कोयले पर आश्रित पोलैंड के वारसा एवं अन्य शहरों में सायरन बजाये गये।
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