आपनें अक्सर सुना होगा कि कुछ बुजुर्ग कॉलेज ज्वाइन कर के बुढ़ापे मे भी डिगरियां हासिल कर रहें है। ये वही लोग हैं जो अपनी उम्र की फ्रिक किए बिना उन्हें जो करना होता है वो कर के ही रहते हैं। उनके लिए उम्र तो बस एक नम्बर होता है और ये बेफ्रिक होकर अपने सपने को लेकर मेहनत करते रहते हैं। वहीं ऐसी ही बिहार की एक 90 साल की महिला उर्मिला देवी है। जो उम्र के इस पड़ाव पर भी दूसरी बार पंचायत चुनाव में खड़ी हो रही हैं।
न्यू इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक, वो बिहार के रोहतास जिले की हथिनी गांव पंचायत की मुखिया हैं। लेकिन 24 सितंबर को 6 पोस्टों के लिए चुनाव होने वाले हैं। इसमें वो हिस्सा ले रही हैं। 90 वर्ष की उम्र के बाद भी वो अपने बेटे दयानंद के साथ अपने इलाके में लोगों को अवेयर कर रही हैं। उनकी समस्याएं सुन रही हैं।
एक दादी के तौर पर रखती हैं अपनें क्षेत्र के सभी लोगों का ख्याल:
पहली बार उर्मिला देवी 85 वर्ष की उम्र में वो महिला मुखिया चुनी गई थी। अब वह 90 वर्ष पार कर चुकी हैं, पर अभी भी वह दादी के तौर पर अपनी पंचायत के लोगों का ध्यान रखती हैं। जब भी लोगों को कोई दिक्कत होती है तो मैं दादी की तरह से उनकी मदद करने की कोशिश करती हैं।
सिर्फ कक्षा 7 तक ही की है पढ़ाई:
उर्मिला देवी ने कक्षा 7वीं तक ही पढ़ाई की है,बावजूद इसके वो सारी सरकारी स्कीमों को अच्छी तरह समझ लेती हैं। उनकी पंचायत के लोग उन्हें दादी मुखिया बाई बुलाते हैं। कोरोना के समय भी उनहोंने लोगों की बहुत मदद की है। प्रेरणा देवी जोकि एक महिला वोटर हैं, वो कहती हैं कि दादी महिला सशक्तिकरण की एक मिसाल हैं।