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Jyeshtha Month 2020 Start: आज से शुरू हो गया ज्येष्ठ महीना, पूरे महीने नहीं खानी चाहिए ये सब्जी

By मेघना वर्मा | Updated: May 8, 2020 10:38 IST

ज्येष्ठ महीने में ही पानी या जल का महत्व बताने वाले दो तीज, गंगा दशहरा और निर्जला एकादशी व्रत पड़ते हैं।

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ठळक मुद्देज्येष्ठ महीने की शुरुआत नारद जयंती के साथ हो गई है। ज्येष्ठ महीने का नाम दरअसल ज्येष्ठ नक्षत्र पर पड़ा है।

हिन्दू पंचाग के अनुसार आज से हिन्दीं वर्ष के तीसरे महीने की शुरुआत हो चुकी है। इस महीने को ज्येष्ठ माह कहा जाता है। जिसकी शुरुआत 08 मई को हो गई है। इसे महीने को सबसे श्रेष्ठ बताया गया है। जिसकी समाप्ति 05 जून को हो रही है। इसी दिन चंद्र ग्रहण भी लगने वाला है। 

ज्येष्ठ महीने में ही पानी या जल का महत्व बताने वाले दो तीज, गंगा दशहरा और निर्जला एकादशी व्रत पड़ते हैं। वहीं इस माह बहुत सारे बड़े तीज-त्योहार भी पड़ते हैं। आइए आपको बताते हैं इस माह की विशेष बात और क्यों होता है ये अन्य महीनों से ज्येष्ठ।

ज्येष्ठ माह

ज्येष्ठ महीने का नाम दरअसल ज्येष्ठ नक्षत्र पर पड़ा है। माना जाता है कि ज्येष्ठ पूर्णिमा के दिन चंद्रमा ज्येष्ठा नक्षत्र में होता है। इसी कारण से इस महीने का नाम ज्येष्ठ रखा गया है। ज्येष्ठ महीना अंग्रेजी कैलेंडर के हिसाब से मई और जून में पड़ता है। जिसमें गर्मी अत्यधिक होती है। 

ज्येष्ठ महीने के तीज-त्योहार

ज्येष्ठ महीने की शुरुआत नारद जयंती के साथ हो रही है। इसके अलावा अपरा एकादशी, शनि जयंती, वट सावित्री व्रत, ज्येष्ठ अमावस्या आदि तीज इस महीने पड़ेगें। अपरा एकादशी जहां 18 मई को शनि जयंति और वट सावित्री व्रत 22 मई को पड़ेगें। गंगा दशहरा 1 जून को और निर्जला एकादशी 2 जून को पड़ रहे हैं। 

ज्येष्ठ महीन में ना करें ये काम

1. महाभारत के अनुशासन पर्व में लिखा है- ज्येष्ठामूलं तु यो मासमेकभक्तेन संक्षिपेत्। ऐश्वर्यमतुलं श्रेष्ठं पुमान्स्त्री वा प्रपद्यते।। अर्थात ज्येष्ठ महीने में जो व्यक्ति एक समय भोजन करता है वह धनवान होता है। इसलिए इस महीने अगर संभव हो तो एक समय ही भोजन करें।

2. लोक मान्यताओं के अनुसार इस महीनें बैंगन का सेवन नहीं करना चाहिए। बताया जाता है कि जिनकी सबसे बड़ी संतान जीवित हों उन्हें बैंगन खाने से बचना चाहिए। इससे संतान को कष्ट मिलता है।

3. ज्येष्ठ महीने में सोना अच्छा नहीं माना जाता। मान्यता है कि इस महीने दिन में सोने से आदमी रोगी बनता है।

4. ज्येष्ठ महीने में तिल का दान करना लाभकारी सिद्ध होता है। मान्यता है ऐसा करने से अच्छे स्वास्थ्य की प्राप्ति होती है।

5. इस महीने में हनुमान जी का पूजन करना भी शुभ होता है। माना जाता है कि इसी महीने हनुमान जी की मुलाकात श्रीराम से हुई थी। इस महीने बड़ा मंगलवार भी मनाया जाता है। 

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