लाइव न्यूज़ :

धनतेरस 2022: इस बार धनतेरस पर बन रहा है धन वृद्धि का संयोग, जानें भगवान धनवंतरी की पूजा का मुहूर्त

By रुस्तम राणा | Updated: October 16, 2022 14:15 IST

Dhanteras 2022 Date: हिन्दू पंचांग के अनुसार, प्रति वर्ष कार्तिक मास कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि को धनतेरस मनाई जाती है। इस साल 22 अक्टूबर को धनतेरस पर्व मनाय जाएगा।

Open in App

Dhanteras 2022 Puja: धनतेरस हिन्दू धर्म का पावन त्योहार है। यह दिवाली से दो दिन पूर्व मनाया जाता है। इस दिन खरीदारी का महत्व है। इस दिन सोने-चांदी के आभूषण, पीतल के बर्तन एवं अन्य चीजों की खरीदारी करना शुभ माना जाता है। धार्मिक मान्यता है कि धनतेरस के दिन भगवान धन्वंतरी समुद्र मंथन से प्रकट हुए थे। इसलिए इस दिन भगवान धन्वंतरी और मां लक्ष्मी जी की आराधना विधि-विधान से की जाती है। हिन्दू पंचांग के अनुसार, प्रति वर्ष कार्तिक मास कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि को धनतेरस मनाई जाती है। इस साल 22 अक्टूबर को धनतेरस पर्व मनाय जाएगा। 

धनतेरस पर इस साल बन रहा है शुभ योग

हिन्दू पंचांग की गणना के अनुसार, धनतेरस पर इस बार बेहद शुभ योग बन रहा है। इस दिन त्रिपुष्कर, इंद्र योग का संयोग बन रहा है। मुहूर्त शास्त्र में इन योगों को धन वृद्धि के लिए बहुत शुभ माना जाता है। ऐसे में धनतेरस पर इन योगों पर खरीदना करना सोने पर सुहागा होगा। इसके अलावा अगले दिन अमृत सिद्धि योग एवं सर्वार्थ सिद्धि योग का निर्माण भी हो रहा है। सर्वार्थ सिद्धि योग पूरे दिन रहेगा।त्रिपुष्कर योग - दोपहर 01.50 बजे से शाम 06.02 बजे तक (22 अक्टूबर 2022)इंद्र योग - शाम 05.13 बजे से (22 अक्टूबर 2022) - शाम 04.07 बजे तक (23 अक्टूबर 2022)अमृत सिद्धि योग - दोपहर 02.34 बजे से (23 अक्टूबर 2022) - शाम 06.30 बजे तक (24 अक्टूबर 2022) 

धनतेरस शुभ मुहूर्त 2022

त्रयोदशी तिथि शुरू - 22 अक्टूबर 2022 को शाम 6 बजकर 02 मिनट सेत्रयोदशी तिथि समाप्त - 23 अक्टूबर 2022 को शाम 06 बजकर 03 मिनट परप्रदोष काल: शाम 5.52 - रात 8.24 (22 अक्टबर 2022)वृषभ काल: शाम 7.10 - रात 09.06 (22 अक्टबर 2022)पूजा मुहूर्त - 22 अक्टूबर 2022 को शाम 7 बजकर 10 से रात 08 बजकर 24 मिनट तक 

धनतेसर पूजा विधि

सुबह उठकर नित्यक्रिया से निवृत्त होकर धनतेरस पूजा की तैयारी शुरू करें।घर के ईशान कोण में धन्वंतरी भगवान की पूजा करें। पूजा करते समय अपने मुंह को हमेशा ईशान, पूर्व या उत्तर दिशा में ही रखें।पूजा में पंचदेव (सूर्यदेव, गणेशजी, दुर्गा मां, शिवजी और विष्णुजी) की प्रतिमा स्थापित करें। धनतेरस के दिन भगवान धन्वंतरि की षोडशोपचार से पूजा करें। पूजा के अंत में सांगता सिद्धि के लिए दक्षिणा जरूर चढ़ाएं।प्रदोष काल में घर के मुख्य द्वार या आंगन में दीया जलाएं। एक दीया यम देवता के नाम का भी जलाएं।

धनतेरस का महत्व

भगवान धन्वन्तरी की पूजा से स्वास्थ्य और सेहत में लाभ मिलता है। इस दिन ही दीपावली की रात लक्ष्मी गणेश की पूजा के लिए मूर्ति भी खरीदते हैं। समुद्र मंथन के दौरान देवासुर संग्राम के वक्त भगवान धनवन्तरी स्वर्णमयी कलश लेकर उत्पन्न हुए थे। तभी से कार्तिक मास की कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि में धनतेरस मनाने की परंपरा चली आ रही है। शास्त्रों के मुताबिक, धनतेरस के दिन नया सामान घर लाना बेहद शुभ माना गया है और इसका फल आपको अप्रत्यक्ष रूप से मिलता है। 

टॅग्स :धनतेरसदिवालीहिंदू त्योहार
Open in App

संबंधित खबरें

पूजा पाठMargashirsha Purnima 2025 Date: कब है मार्गशीर्ष पूर्णिमा? जानिए तिथि, दान- स्नान का शुभ मुहूर्त, चंद्रोदय का समय और महत्व

पूजा पाठDecember Vrat Tyohar 2025 List: गीता जयंती, खरमास, गुरु गोबिंद सिंह जयंती, दिसंबर में पड़ेंगे ये व्रत-त्योहार, देखें पूरी लिस्ट

पूजा पाठVivah Panchami 2025: विवाह पंचमी 25 नवंबर को, वैवाहिक जीवन में प्रेम बढ़ाने के लिए इस दिन करें ये 4 महाउपाय

भारतदरगाह, मंदिर और गुरुद्वारे में मत्था टेका?, बिहार मतगणना से पहले धार्मिक स्थल पहुंचे नीतीश कुमार, एग्जिट पोल रुझान पर क्या बोले मुख्यमंत्री

पूजा पाठKartik Purnima 2025: कार्तिक पूर्णिमा आज, जानें महत्व, पूजा विधि और शुभ मुहूर्त

पूजा पाठ अधिक खबरें

पूजा पाठAaj Ka Rashifal 06 December 2025: आज आर्थिक पक्ष मजबूत, धन कमाने के खुलेंगे नए रास्ते, पढ़ें दैनिक राशिफल

पूजा पाठPanchang 06 December 2025: जानें आज कब से कब तक है राहुकाल और अभिजीत मुहूर्त का समय

पूजा पाठAaj Ka Rashifal 05 December 2025: आज 4 राशिवालों पर किस्मत मेहरबान, हर काम में मिलेगी कामयाबी

पूजा पाठPanchang 05 December 2025: जानें आज कब से कब तक है राहुकाल और अभिजीत मुहूर्त का समय

पूजा पाठPanchang 04 December 2025: जानें आज कब से कब तक है राहुकाल और अभिजीत मुहूर्त का समय