1 / 8इतिहास में 6 जून का दिन सिखों को एक गहरा जख्म देकर गया। इस दिन स्वर्ण मंदिर में सेना का आपरेशन ब्लूस्टार खत्म हुआ।2 / 8इस घटना की बरसी से पहले शहर में 3000 से ज्यादा सुरक्षाकर्मी तैनात किए गए और पुलिस संवेदनशील इलाकों पर पैनी नजर रख रही है।3 / 8पुलिस को आशंका थी कि सिख कट्टरपंथियों द्वारा स्वर्ण मंदिर परिसर में परेशानी पैदा की जा सकती है।4 / 8सेना ने स्वर्ण मंदिर परिसर में छिपे चरमपंथियों को खदेड़ने के लिए जून 1984 में ऑपरेशन ब्लूस्टार अभियान चलाया था। 5 / 8हालांकि, गुरुवार को स्वर्ण मंदिर में काफी हलचल भी दिखी और दो गुट आपस में भिड़ गये। बहरहाल, अमृतसर में एयरपोर्ट, रेलवे स्टेशन, बायपास सहित शहर के प्रवेश और निकास द्वारों पर पुलिसकर्मियों को तैनात किया गया है।6 / 8छह जून को ऑपरेशन ब्लूस्टार की बरसी के पहले कई इलाके में फ्लैग मार्च भी किया गया और सीसीटीवी कैमरों के जरिए संवेदनशील इलाके की निगरानी की जा रही है।7 / 8ऑपरेशन ब्लूस्टार के दौरान स्वर्ण मंदिर में मुख्य पूजनीय स्थल हरमंदिर साहिब की तरफ बढ़ती सेना का जरनैल सिंह भिंडरावाले और खालिस्तान समर्थक चरमपंथियों ने जमकर विरोध किया और इस दौरान दोनों तरफ से भीषण गोलीबारी हुई। भारी खूनखराबे के बीच अकाल तख़्त को भारी नुकसान पहुंचा और कई सदियों में पहली बार ऐसा हुआ कि हरमंदिर साहिब में गुरू ग्रंथ साहिब का पाठ नहीं हो पाया।8 / 8