Waqf Bill: 30 दिन में गोविंदपुर गांव खाली करो, फतुहा में वक्फ बोर्ड ने ठोका दावा, नोटिस जारी

By एस पी सिन्हा | Updated: August 24, 2024 16:38 IST2024-08-24T16:37:28+5:302024-08-24T16:38:36+5:30

Waqf Bill: बिहार राज्य सुन्नी वक्फ बोर्ड ने पटना के फतुहा में गोविंदपुर गांव पर अपना दावा ठोक दिया है। लोगों का कहना है कि यह जमीन हम लोगों की है और वक्फ बोर्ड का दावा पूरी तरह से गलत और बेबुनियाद है।

Waqf Bill khali Vacate Govindpur village within 1 month 30 days din Waqf Board stakes claim in Fatuha notice issued patna bihar | Waqf Bill: 30 दिन में गोविंदपुर गांव खाली करो, फतुहा में वक्फ बोर्ड ने ठोका दावा, नोटिस जारी

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Highlightsबोर्ड ने अचानक यह दावा कर दिया है कि जमीन वक्फ बोर्ड की है।वक्फ बोर्ड का दावा था कि यह जमीन 1959 से उनके पास है।हाईकोर्ट ने जमीन के विवाद में फैसला हम लोगों के पक्ष में दिया है।

Waqf Bill: बिहार में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव के द्वारा किसी भी कीमत पर लोकसभा में वक्फ बोर्ड संशोधन बिल को पास नहीं होने देने का ऐलान किए जाने के बाद बिहार में वक्फ बोर्ड ने अपनी सक्रियता बढ़ा दी है। इस बीच बिहार राज्य सुन्नी वक्फ बोर्ड ने पटना के फतुहा में गोविंदपुर गांव पर अपना दावा ठोक दिया है। बोर्ड ने वहां रहने वाले लोगों को एक महीने में जगह खाली करने के लिए कहा है। वक्फ बोर्ड के इस दावे का विरोध भी शुरू हो गया है। यहां रहने वाले लोगों का कहना है कि यह जमीन हम लोगों की है और वक्फ बोर्ड का दावा पूरी तरह से गलत और बेबुनियाद है।

बताया जाता है कि गोविंदपुर गांव पर वक्फ बोर्ड ने अचानक यह दावा कर दिया है कि यह जमीन वक्फ बोर्ड की है। वक्फ बोर्ड का दावा था कि यह जमीन 1959 से उनके पास है। इसलिए यह जगह उन्हें खाली करनी होगी। जबकि यहां रहने वाले लोगों ने वक्फ बोर्ड के दावे को पूरी तरह से झूठलाते हुए कहा है 1909 से ही वे लोग यहां रह रहे हैं। इसलिए वक्फ बोर्ड का दावा कहीं से भी सही नहीं है।

यहां तक कि इसी साल हाईकोर्ट ने जमीन के विवाद में फैसला हम लोगों के पक्ष में दिया है। इसके बाद भी वक्फ बोर्ड अपना दावा कर रहा है। लोगों ने बताया कि वक्फ बोर्ड भले ही दावा करती है कि यह जमीन उनकी है। लेकिन आज तक उन्होंने यह नहीं बताया कि यह जमीन उन्हें कैसे मिली? किसने उन्हें यह जमीन दिया?

बावजूद इसके वक्फ बोर्ड की ओर से ग्रामीणों को गांव खाली करने का नोटिस जारी किया गया है। नोटिस मिलने के बाद से गांव वाले काफी परेशान हैं। ग्रामीणों का कहना है कि गांव में लगभग 95 फीसदी हिंदू आबादी रहती है। यहां वह कई पीढ़ियों से रह रहे है और जमीन के कागजात भी उनके नाम हैं। गांव वाले आनन-फानन में जिलाधिकारी के कार्यालय पहुंचे।

डीएम के आदेश पर जब जांच हुई तो पता चला कि जमीन पर ग्रामीणों का पुश्तैनी अधिकार है और वक्फ बोर्ड का दावा गलत है। लेकिन ग्रामीणों को जो नोटिस मिला है, उसमें उनकी जमीन को कब्रिस्तान की जमीन बताया गया है। वहीं गांव वालों ने मीडिया को अपनी जमीन के कागजात दिखाए। कागजों के मुताबिक, ग्रामीण यहां के पुश्तैनी निवासी हैं।

बताया जाता है कि लगभग 21 डिसमिल जमीन पर कब्रिस्तान होने का दावा किया गया है। वक्फ बोर्ड जमीन पर दावेदारी को लेकर कोई दस्तावेज प्रस्तुत नहीं कर सका है। बता दें कि देश में सेना और रेलवे के बाद सबसे बड़ा जमीन मालिक वक्फ बोर्ड है। यानी वक्फ बोर्ड देश का तीसरा सबसे बड़ा जमीन मालिक है।

अपने असीमित अधिकारों का फायदा उठाते हुए वक्फ बोर्ड ने सिर्फ 13 वर्षों में अपने कब्जे की जमीन का रकबा दोगुना से भी ज्यादा कर लिया है। वक्फ मैनेजमेंट सिस्टम ऑफ इंडिया के मुताबिक, देश के सभी वक्फ बोर्डों के पास कुल मिलाकर 8 लाख 54 हजार 509 संपत्तियां हैं जो 8 लाख एकड़ से ज्यादा जमीन पर फैली हैं।

Web Title: Waqf Bill khali Vacate Govindpur village within 1 month 30 days din Waqf Board stakes claim in Fatuha notice issued patna bihar

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