केंद्र सरकार ने खत्म की मुस्लिमों को मिलने वाली हज यात्रा की सब्सिडी, बचेंगे इतने रुपये
By आदित्य द्विवेदी | Updated: January 16, 2018 18:35 IST2018-01-16T16:26:54+5:302018-01-16T18:35:10+5:30
केंद्रीय मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने कहा कि इस सब्सिडी के पैसे का इस्तेमाल लड़कियों की पढ़ाई के लिए खर्च किया जाएगा।

केंद्र सरकार ने खत्म की मुस्लिमों को मिलने वाली हज यात्रा की सब्सिडी, बचेंगे इतने रुपये
केंद्र की मोदी सरकार ने हज यात्रा के लिए मिलने वाली सब्सिडी समाप्त कर दी है। सब्सिडी की घोषणा करते हुए अल्पसंख्यक मामलों के मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने कहा कि सब्सिडी के फंड का इस्तेमाल मुस्लिम लड़कियों की पढ़ाई में खर्च किया जाएगा। नकवी ने कहा कि यह बिना तुष्टीकरण के अल्पसंख्यकों को समृद्ध बनाने की सरकार की नीति का हिस्सा है। इससे पहले मोदी सरकार ने मुस्लिम महिलाओं को बिना मेहरम के हज पर जाने की इजाजत दी थी। इस साल एक लाख 75 हजार मुस्लिम हज यात्रा पर जाने वाले हैं। जिनकी यात्रा की सब्सिडी पर करीब 700 करोड़ रुपये का बोझ पड़ता।
Haj subsidy funds will be used for educational empowerment of girls and women of minority community: Minority Affairs Minister Mukhtar Abbas Naqvi pic.twitter.com/p1GmpyyRyg
— ANI (@ANI) January 16, 2018
अखिल भारतीय मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के कमाल फारुकी ने सरकार के इस फैसले का स्वागत करते हुए कहा मुसलमानों में यह गलत धारणा धारणा थी की उन्हें इससे सहायता प्राप्त हो रहीं है बल्कि इस सरकारी योजना के तहत सबसे बड़ा लाभार्थी एयर इंडिया था।
वहीं कमाल फारुकी के बयान पर आपत्ति जताते हुए कांग्रेस प्रवक्ता मीम अफजल ने कहा कि यह कहना पूरी तरह से गलत है कि हज सब्सिडी फंड से एजेंटों और कुछ कंपनियों को फायदा होता था। उन्होंने इस मामले को मुस्लिमों के आत्मसम्मान से जोड़ते हुए कहा कि कहा कि सुप्रीम कोर्ट ने भी 10 साल के अंदर हज सब्सिडी को धीरे-धीरे खत्म करने का निर्देश दिया था।
यूपीए सरकार के दौरान से ही हज सब्सिडी खत्म करने की दिशा में काम हो रहा है, लेकिन मोदी सरकार ने इसको अचानक और बहुत जल्दी खत्म कर दिया है। इसके साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि मोदी सरकार इतनी जल्दी यह फैसला लेकर मुसलमानों को सख्त संदेश देना चाहती है।
Govt withdrew Haj subsidy 4 yrs before date prescribed by SC, we don't have any issue. 1st part of SC judgement implemented by GOI, I am sure 2nd part of the judgement will also be implemented. Let it be clear that Hajis are not benefited by subsidy,airlines are: GN Azad,Congress pic.twitter.com/SlQ4ifOZgr
— ANI (@ANI) January 16, 2018
शिया वक्फ बोर्ड के चेयरमैन वसीम रिजवी ने केंद्र सरकार के इस फैसले का स्वागत किया है। उन्होंने कहा कि शरई करतब में उधार लेकर या सब्सिडी के पैसे से हज करना हराम माना गया है। इसके अलावा हज के पैसे को अल्पसंख्यक बच्चियों की शिक्षा के लिए खर्च करने का फैसला काबिले तारीफ है।
इससे पहले 2010 में भी विदेश मंत्रालय ने इस संबंध में एक प्रस्ताव दिया था लेकिन कोई कोई ठोस हल नहीं निकल सका। साल 2012 में सुप्रीम कोर्ट ने भी केंद्र सरकार को 2022 तक हज यात्रा की पूरी सब्सिडी खत्म करने के निर्देश दिए थे। केंद्र में मोदी सरकार आने के बाद एक कमेटी गठित की गई जिसने मुस्लिमों की हज यात्रा से सब्सिडी खत्म करने का सुझाव दिया जिसे कैबिनेट की मंजूरी मिल गई है।
बता दें कि हज यात्रा के लिए सब्सिडी उन्हें मिलती है जो भारत सरकार की हज कमेटी के जरिए यात्रा करते हैं। इस साल हज यात्रा की सब्सिडी का लाभ उठाने वाले लोगों की संख्या 1.70 लाख पहुंच गई। एक आंकड़े के मुताबिक 2011 में हज यात्रा की सब्सिडी के लिए सरकारी खजाने से 685 करोड़ रुपये खर्च किए गए थे।