पटनाः बिहार के पूर्व मंत्री और राजद के राष्ट्रीय महासचिव श्याम रजक ने पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दे दिया। उन्होंने राजद के राष्ट्रीय अध्यक्ष लालू प्रसाद यादव को अपना इस्तीफा भेज दिया है। श्याम रजक को लालू परिवार के करीबी नेताओं में माना जाता है। अब उनके द्वारा राजद को छोडे जाने से लालू-तेजस्वी के लिए बड़ा झटका माना जा रहा है। श्याम रजक ने अपने इस्तीफे में अपनी दिल की बड़ी बात लिखी है। लालू यादव को भेजे इस्तीफे में श्याम रजक ने शायरी लिखते हुए कहा है कि मैं शतरंज का शौकिन नहीं था, इसलिए धोखा खा गया। आप मोहरे चल रहे थे, मैं रिश्तेदारी निभा रहा था।
सूत्रों के अनुसार श्याम रजक बहुत जल्द ही फिर से जदयू का दामन थाम सकते हैं। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से उनकी बात हो चुकी है। श्याम रजक पहले जदयू में थे और नीतीश सरकार में मंत्री थे। लेकिन बाद में उन्होंने जदयू छोड़कर राजद का दामन थाम लिया था। उन्हें 2020 में होने वाले विधानसभा चुनाव में राजद से फुलवारी से टिकट मिलने की उम्मीद थी, लेकिन ऐसा नहीं हुआ।
बाद में श्याम रजक को विधान परिषद का सदस्य बनने की उम्मीद थी, लेकिन लालू यादव ने ये भी नहीं किया। राजद ने मुन्नी रजक को विधान परिषद का सदस्य बना दिया था। इसे श्याम रजक के लिए बड़ा झटका माना गया। इसबीच जदयू के सूत्रों ने बताया कि श्याम रजक एक सितंबर को फिर से जदयू में शामिल होंगे।
जदयू के प्रदेश कार्यालय में उनका मिलन समारोह होगा। इसमें राजद के कुछ और नेता भी जदयू में शामिल हो सकते हैं। बता दें कि लालू-राबड़ी के साथ राजनीति शुरू करने वाले श्याम रजक लंबे समय तक राजद के शासन काल में मंत्री रहे। 2005 में राजद का शासन खत्म होने के बाद 2009 में श्याम रजक ने जदयू का दामन थाम लिया था।
2010 में वे नीतीश सरकार में मंत्री बनाए गए थे। 2020 के विधानसभा चुनाव से ठीक पहले श्याम रजक ने मंत्री पद और जदयू की सदस्यता से इस्तीफा दे कर राजद में शामिल हो गए थे। लेकिन राजद ने उन्हें गच्चा दे दिया।