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'अमित शाह को खेल मंत्रालय भेज दिया जाए', मणिपुर के हालात को लेकर केंद्र पर भड़के सुब्रमण्यम स्वामी, राज्य सरकार को बर्खास्त करने की मांग की

By शिवेन्द्र कुमार राय | Updated: June 17, 2023 21:29 IST

सुब्रमण्यम स्वामी ने मणिपुर में जारी जातीय हिंसा को लेकर केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के कटघरे में खड़ा किया है। साथ ही स्वामी ने कहा है कि स्थिति से निपटने में विफल रहने के लिए राज्य सरकार को बर्खास्त कर देना चाहिए।

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ठळक मुद्देफिलहाल राज्य के 11 जिलों में कर्फ्यू लगा हुआ हैमणिपुर के हालात को लेकर केंद्र पर भड़के सुब्रमण्यम स्वामीकहा- अमित शाह को खेल मंत्रालय भेज दिया जाए

नई दिल्ली: भारतीय जनता पार्टी के नेता सुब्रमण्यम स्वामी ने मणिपुर में जारी जातीय हिंसा को लेकर केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के कटघरे में खड़ा किया है। साथ ही स्वामी ने कहा है कि स्थिति से निपटने में विफल रहने के लिए राज्य सरकार को बर्खास्त कर देना चाहिए।

स्वामी ने ट्वीट करके कहा, 'अब समय आ गया है कि बीजेपी की मणिपुर सरकार को बर्खास्त कर दिया जाए और संविधान के अनुच्छेद 356 के तहत केंद्रीय शासन लागू कर दिया जाए। अमित शाह को खेल मंत्रालय भेज दिया जाए।'

बता दें कि मणिपुर में 3 मई से जारी हिंसा अब भी जारी है। एक दिन पहले ही इंफाल पश्चिम के इरिंगबाम थाने पर सैकड़ों लोगों की भीड़ ने हथियार लूटने की कोशिश की, हालांकि सुरक्षाबलों ने उन्हें खदेड़ दिया। इस दौरान भीड़ की ओर से फायरिंग भी की गई। इससे पहले बीजेपी के एक केंद्रीय मंत्री का घर जला दिया गया था।  सेना, असम राइफल्स और मणिपुर रैपिड एक्शन फोर्स स्थिति संभालने में जुटी हैं लेकिन फिर भी स्थिति बार बार बिगड़ रही है। 

हाल ही में पूर्व आर्मी चीफ वीपी मलिक ने PM मोदी, गृहमंत्री अमित शाह और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह से दखल देने की अपील की है। मणिपुर से ही आने वाले रिटायर्ड लेफ्टिनेंट जनरल एल निशिकांत सिंह ने राज्य के हालात को  सीरिया-लेबनान जैसा बताया था।

इससे पहले शनिवार, 17 जून को मणिपुर में जारी जातीय हिंसा को लेकर कांग्रेस ने पीएम मोदी पर चुप्पी साधने का आरोप लगाया। कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं ने नई दिल्ली में शनिवार, 17 जून को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस की। जयराम नरेश ने कहा कि 10 जून से मणिपुर की 10 विपक्षी पार्टियां प्रधानमंत्री से मिलने के मौके का इंतजार कर रही हैं। उन्होंने 10 जून को पीएम को पत्र भेजा और उनसे मिलने का अनुरोध किया, वे अभी भी इंतजार कर रहे हैं। उन्हें उम्मीद है कि 20 जून को विदेश यात्रा पर जाने से पहले प्रधानमंत्री उनसे मिलने का समय निकाल लेंगे।

बता दें कि फिलहाल राज्य के 11 जिलों में कर्फ्यू लगा हुआ है। वहीं, इंटनेट सेवाएं भी निलंबित चल रही हैं। हिंसा की घटनाओं अब तक 100 से ज्यादा लोग जान गंवा चुके हैं।

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