नई दिल्ली:गणतंत्र दिवस परेड में रविवार को यहां कर्तव्य पथ पर पहली बार सतह से सतह पर मार करने वाली सामरिक मिसाइल ‘प्रलय’ का प्रदर्शन किया गया। रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ) द्वारा विकसित यह मिसाइल परमाणु आयुध ले जाने में सक्षम है।
यह सतह से सतह पर मार करने वाली कम दूरी की मिसाइल है, जिसकी भार क्षमता 500-1,000 किलोग्राम है। यह 150 से 500 किलोमीटर की दूरी पर स्थित लक्ष्यों को निशाना बनाने में सक्षम है। राष्ट्रीय राजधानी में हुई भव्य परेड में स्वदेश निर्मित मिसाइलों, निगरानी प्रणालियों और हथियार प्रणालियों की एक शृंखला के जरिये भारत की सैन्य शक्ति का प्रदर्शन किया गया।
डीआरडीओ ने राष्ट्रीय सुरक्षा को बढ़ावा देने के लिए अपने कुछ विशिष्ट और अनूठे नवाचारों को भी प्रदर्शित किया। इसकी झांकी ‘रक्षा कवच-बहु-स्तरीय सुरक्षा और बहु-क्षेत्रीय खतरों से रक्षा’ थीम पर आधारित थी और इसमें भारत की रक्षा तकनीक में हुई प्रगति और राष्ट्रीय सुरक्षा को मजबूत करने के प्रयासों को दर्शाया गया।
इसमें कई अत्याधुनिक हथियार और तकनीकी प्रणालियां जैसे क्विक रिएक्शन सतह से हवा में मार करने वाली मिसाइल, एयरबोर्न अर्ली वॉर्निंग एंड कंट्रोल सिस्टम, एडवांस टोअड आर्टिलरी गन सिस्टम शामिल थे। इसके अलावा, उपग्रह आधारित निगरानी प्रणाली और अरुध्र मध्यम शक्ति रडार भी इस झांकी में प्रदर्शित किए गए।
इनपुट भाषा