हिंदू सांस्कृतिक पहचान छिपाकर लाभ के लिए इसका दुरुपयोग करना स्वीकार्य नहींः पुडुचेरी की उपराज्यपाल
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Updated: October 7, 2022 07:42 IST2022-10-07T07:25:58+5:302022-10-07T07:42:50+5:30
उपराज्यपाल सुंदरराजन ने कहा कि पहले से ही ऐसी कई पहचानों को छिपाया जा चुका है और अपने लाभ के लिए इसका दुरुपयोग करना स्वीकार्य नहीं है।

हिंदू सांस्कृतिक पहचान छिपाकर लाभ के लिए इसका दुरुपयोग करना स्वीकार्य नहींः पुडुचेरी की उपराज्यपाल
कोयंबटूरः पुडुचेरी की उपराज्यपाल तमिलिसाई सुंदरराजन ने गुरुवार को उन लोगों का साथ देकर विवाद खड़ा कर दिया जो विभिन्न हिंदू सांस्कृतिक पहचान खासकर मंदिरों की पहचान को छिपाने की कोशिश कर रहे हैं। सम्राट राजा राज चोल के बारे में फिल्म निर्देशक वेत्रिमारन द्वारा की गई टिप्पणी और अभिनेता कमल हासन द्वारा दिए गए समर्थन पर एक सवाल के जवाब में सुंदरराजन ने संवाददाताओं से कहा कि उनका पालन-पोषण राजा चोल के शासनकाल के दौरान निर्मित तंजावुर में विशाल बृहदेश्वर मंदिर के आस पास वाले क्षेत्र में हुआ था।
निर्देशक वेत्रिमारन ने कहा है कि राजाराज चोल हिंदू राजा नहीं थे और अभिनेता कमल हासन ने भी उनकी बात का समर्थन किया है। कमल हासन ने कहा, "राजराजा चोलन के काल में हिंदू धर्म नाम का कोई धर्म नाम नहीं था। वैणवम, शिवम और समानम थे। अंग्रेजों ने हिंदू शब्द गढ़ा था। उन्होंने थुथुकुडी को तूतीकोरिन में बदल दिया।" उन्होंने यह भी कहा कि 8वीं शताब्दी के दौरान कई धर्म थे और अधिशंकरर ने 'शंमधा स्तबनम' की रचना की।
उपराज्यपाल सुंदरराजन ने कहा कि पहले से ही ऐसी कई पहचानों को छिपाया जा चुका है और अपने लाभ के लिए इसका दुरुपयोग करना स्वीकार्य नहीं है। उन्होंने कहा कि पूजा की अवधारणा तमिलों में निहित है और शैव और वैष्णववाद दोनों ही हिंदुओं की पहचान हैं। पुडुचेरी में बिजली आपूर्ति की स्थिति पर, सुंदरराजन ने कहा कि केंद्र शासित प्रदेश ‘अब उज्ज्वल’ है।