punjab Congress crisis: पंजाबकांग्रेस में एक बार फिर सत्ता के लिए संघर्ष जारी है। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष नवजोत सिंह सिद्धू ने विभिन्न मुद्दों पर कैप्टन अमरिंदर सिंह सरकार को निशाना बनाना जारी रखा है। इस बीच पार्टी के प्रभारी हरीश रावत चंडीगढ़ पहुंचकर नवजोत सिंह सिद्धू से मुलाकात की।
पंजाब कांग्रेस के प्रभारी हरीश रावत ने पंजाब कांग्रेस अध्यक्ष नवजोत सिंह सिद्धू, कार्यकारी अध्यक्ष पवन गोयल, कुलजीत सिंह नागरा और पंजाब कांग्रेस महासचिव परगट सिंह के साथ मुलाकात की। राज्य के नेताओं के साथ बातचीत शुरू कर दी।
गौरतलब है कि परगट ने कुछ दिन पहले ही पंजाब सरकार पर निशाना साधते हुए दावा किया था कि विधानसभा चुनाव के दौरान राज्य के लोगों से किए गए कई वादों को पूरा करना बाकी है। सिद्धू कल सिंह से मिलने वाले हैं।
विधानसभा चुनावों के कुछ महीने दूर हैं, सीएम और पार्टी अध्यक्ष के बीच अभी भी समझौता होना बाकी है। हालांकि दोनों ने एक महीने पहले एक समन्वय समिति का गठन किया था, जिसमें यह तय किया गया था कि हर मंत्री कांग्रेस भवन का दौरा करेगा और लोगों के मुद्दों को संबोधित करेगा।
सीएम अमरिंदर ने ताकत दिखाने के लिए पुराने और वरिष्ठ कांग्रेस नेताओं से मिलना शुरू कर दिया। कुछ दिन पहले ही कांग्रेस की पंजाब इकाई में चल रही तनातनी के बीच महासचिव और विधायक परगट सिंह ने रविवार को कहा कि पार्टी के राज्य मामलों के प्रभारी हरीश रावत को यह बताना चाहिए कि मुख्यमंत्री अमरिदंर सिंह के नेतृत्व में विधानसभा चुनाव लड़ने का फैसला कब लिया गया। रावत ने हाल में कहा था कि पंजाब विधानसभा का चुनाव अमरिंदर सिंह के नेतृत्व में लड़ा जाएगा जिसके बाद उन नेताओं में खलबली मच गई थी जो सिंह को हटाना चाहते हैं।
राज्य में मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह और प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष नवजोत सिंह सिद्धू के बीच गुटबाजी स्पष्ट रूप से नजर आई है। जालंधर में भारतीय हॉकी टीम के पूर्व कप्तान परगट सिंह ने कहा कि खड़गे समिति ने कहा था कि पंजाब चुनाव सोनिया गांधी और पार्टी नेता राहुल गांधी के नेतृत्व में लड़े जाएंगे।