मोदी ने संसद के केंद्रीय कक्ष में वाजपेयी, मालवीय को पुष्पांजलि अर्पित की

By भाषा | Updated: December 25, 2020 12:13 IST2020-12-25T12:13:07+5:302020-12-25T12:13:07+5:30

Modi paid floral tributes to Vajpayee, Malviya in the Central Hall of Parliament | मोदी ने संसद के केंद्रीय कक्ष में वाजपेयी, मालवीय को पुष्पांजलि अर्पित की

मोदी ने संसद के केंद्रीय कक्ष में वाजपेयी, मालवीय को पुष्पांजलि अर्पित की

नयी दिल्ली, 25 दिसंबर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शुक्रवार को संसद के केंद्रीय कक्ष में पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी और स्वतंत्रता सेनानी एवं शिक्षाविद पंडित मदन मोहन मालवीय की प्रतिमाओं पर पुष्पांजलि अर्पित कर उन्हें उनकी जयंती के अवसर पर श्रद्धांजलि दी।

मोदी ने इस अवसर पर ‘संसद में अटल बिहारी वाजपेयी: एक स्मृति खंड’ नामक पुस्तक का विमोचन भी किया।

इस अवसर पर लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला, लोकसभा में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी, राज्यसभा में विपक्ष के नेता गुलाम नबी आजाद और समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता मुलायम सिंह भी उपस्थित थे।

पुस्तक के विमोचन के बाद आप सांसदों ने कृषि कानूनों को वापस लेने की मांग को लेकर प्रधानमंत्री के समक्ष नारेबाजी की।

लोकसभा सचिवालय द्वारा प्रकाशित पुस्तक में वाजपेयी के जीवन पर प्रकाश डालने सहित संसद में उनके द्वारा दिए उल्लेखनीय भाषण भी शामिल किए गए हैं। इस पुस्तक में उनके सार्वजनिक जीवन से जुड़ी कुछ 'दुर्लभ' तस्वीरें भी हैं।

मोदी ने एक ट्वीट में कहा कि वाजपेयी के दूरदर्शी नेतृत्व ने देश को विकास की अभूतपूर्व ऊंचाइयों पर पहुंचाया।

उन्होंने कहा, ‘‘पूर्व प्रधानमंत्री आदरणीय अटल बिहारी वाजपेयी जी को उनकी जन्म-जयंती पर शत-शत नमन। एक सशक्त और समृद्ध भारत के निर्माण के लिए उनके प्रयासों को सदैव स्मरण किया जाएगा।’’

वाजपेयी को वर्ष 2015 में देश के सर्वोच्च नागरिक सम्मान 'भारत रत्न' से सम्मानित किया गया था। इससे पूर्व 1992 में उन्हें पद्म विभूषण से भी सम्मानित किया गया था। वर्ष 1994 में उन्हें पं. गोविंद बल्लभ पंत उत्कृष्ट सांसद पुरस्कार प्रदान किया गया।

वाजपेयी का जन्म 25 दिसंबर 1924 को हुआ था। वह जनसंघ और भाजपा के संस्थापक सदस्य थे। पार्टी को कामयाबी के शिखर पर ले जाने में उनकी महत्वपूर्ण भूमिका थी। नब्बे के दशक में वह पार्टी का मुख्य चेहरा बनकर उभरे और पहली बार पार्टी के नेतृत्व में सरकार बनी।

प्रधानमंत्री के तौर पर वाजपेयी के कार्यकाल के दौरान देश में उदारीकरण को बढ़ावा मिला और बुनियादी ढांचे तथा विकास को गति मिली।

मोदी ने मालवीय को श्रद्धांजलि देते हुए ट्वीट किया, ‘‘ काशी हिंदू विश्वविद्यालय के प्रणेता और बहुआयामी प्रतिभा के धनी महामना पंडित मदन मोहन मालवीय जी को उनकी जयंती पर शत-शत नमन। उन्होंने अपना संपूर्ण जीवन समाज सुधार और राष्ट्र सेवा में समर्पित कर दिया। देश के लिए उनका योगदान पीढ़ी-दर-पीढ़ी को प्रेरित करता रहेगा।’’

बनारस हिन्दू विश्वविद्यालय के संस्थापक पंडित मदन मोहन मालवीय का जन्म 25 दिसंबर 1861 को प्रयागराज में हुआ था।

कांग्रेस के अध्यक्ष रहे मालवीय ने बाद मे ‘हिंदू महासभा’ की स्थापना की थी।

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Web Title: Modi paid floral tributes to Vajpayee, Malviya in the Central Hall of Parliament

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