बैठकों के बाद HRD मंत्रालय ने JNU के छात्रों से कहा- बुनियादी मांग पर सहमत, आंदोलन खत्म करिये

By भाषा | Updated: January 11, 2020 06:42 IST2020-01-11T06:42:26+5:302020-01-11T06:42:26+5:30

मंत्रालय के अधिकारियों ने छात्र संघ के सदस्यों से कहा कि उन्हें उपादेयता और सेवा शुल्क का भुगतान नहीं करना होगा और पूर्व में किए गए वादे के अनुरूप यूजीसी इसे वहन करेगा। हालांकि मंत्रालय ने प्रोक्टोरियल जांच को बंद करने और छात्रसंघ की अधिसूचना जारी करने जैसी अन्य मांगों को लेकर कोई वादा नहीं किया है।

JNU Clash: HRD ministry says agree on basic demands students, end the agitation | बैठकों के बाद HRD मंत्रालय ने JNU के छात्रों से कहा- बुनियादी मांग पर सहमत, आंदोलन खत्म करिये

जेएनयू छात्रसंघ की अध्यक्ष आइशी घोष।

Highlightsमंत्रालय ने पहली बैठक जेएनयू के कुलपति जगदीश कुमार, रजिस्ट्रार प्रमोद कुमार समेत पांच सदस्यीय टीम के साथ की।बैठक के बाद घोष ने पत्रकारों से कहा “जेएनयू के कुलपति के इस्तीफे की हमारी मांग कायम है। हम सलाहकारों और पदाधिकारियों की एक बैठक बुलाएंगे और फैसला करेंगे कि प्रदर्शन वापस लेना है या नहीं..।''

मानव संसाधन विकास मंत्रालय (एचआरडी) ने शुक्रवार को जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) के कुलपति, छात्र संघ और यूजीसी के साथ जेएनयू शुल्क वृद्धि के मुद्दे पर बैठकें करके प्रदर्शनकारियों से अपने आंदोलन को समाप्त करने की अपील की। मंत्रालय ने कहा कि विश्वविद्यालय शुल्क वृद्धि में संशोधन की बुनियादी मांग को मानने पर सहमत हो गया है।

मंत्रालय के अधिकारियों ने छात्र संघ के सदस्यों से कहा कि उन्हें उपादेयता और सेवा शुल्क का भुगतान नहीं करना होगा और पूर्व में किए गए वादे के अनुरूप यूजीसी इसे वहन करेगा। हालांकि मंत्रालय ने प्रोक्टोरियल जांच को बंद करने और छात्रसंघ की अधिसूचना जारी करने जैसी अन्य मांगों को लेकर कोई वादा नहीं किया है।

केंद्रीय मानव संसाधन विकास मंत्री रमेश पोखरियाल ‘निशंक’ ने शुक्रवार को कहा कि जेएनयू छात्रों के पांच जनवरी की हिंसा मामले में संलिप्तता को लेकर वह ‘‘व्यथित’’ हैं जैसा कि दिल्ली पुलिस ने इंगित किया है।

निशंक ने एक के बाद एक किए ट्वीट में कहा कि मंत्रालय, परिसर में किसी भी तरह की हिंसा और अराजकता बर्दाश्त नहीं करेगा क्योंकि वह शैक्षणिक संस्थानों में शैक्षणिक माहौल सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध है। एचआरडी के सचिव अमित खरे ने पत्रकारों को बताया कि जेएनयू छात्रों की बुनियादी मांग पर सहमत हो गया है और उनसे आग्रह है कि वे आंदोलन समाप्त कर दें। हमने कुलपति और उनकी टीम के सदस्यों से सुबह मुलाकात की। इसके बाद छात्र संघ के प्रतिनिधियों से मुलाकात की और उन्हें बताया कि छात्रों को कमरे के बढ़े किराये के अलावा उपादेयता और सेवा शुल्क नहीं चुकाना होगा। छात्र संघ की अधिसूचना को लेकर किए गए सवाल पर उन्होंने कहा कि कई मांगे हो सकती हैं।

मंत्रालय ने पहली बैठक जेएनयू के कुलपति जगदीश कुमार, रजिस्ट्रार प्रमोद कुमार समेत पांच सदस्यीय टीम के साथ की। बैठक के बाद कुमार ने कहा, “छात्रावास शुल्क से संबंधित एचआरडी मंत्रालय में पूर्व में लिए गए सभी फैसलों को पूरी तरह से लागू किया गया है। हमने पूर्व में ही यूजीसी को अनुमानित खर्च को लेकर कोष जारी करने को लिखा है। अगर जरूरत हुई तो पंजीकरण की तारीख को आगे बढ़ाया जाएगा। 13 जनवरी से कक्षाएं शुरू की जाएंगी।”

मंत्रालय के अधिकारियों ने इसके बाद जेएनयूएसयू के चार सदस्यों के साथ बैठक की। जब बैठक चल रही थी उसी दौरान दिल्ली पुलिस ने हमले में शामिल नौ संदिग्धों की तस्वीर जारी की और दावा किया कि जेएनयू छात्रसंघ अध्यक्ष आइशी घोष उनमें से एक थीं।

बैठक के बाद घोष ने पत्रकारों से कहा “जेएनयू के कुलपति के इस्तीफे की हमारी मांग कायम है। हम सलाहकारों और पदाधिकारियों की एक बैठक बुलाएंगे और फैसला करेंगे कि प्रदर्शन वापस लेना है या नहीं। हमनें अपनी बात रख दी है और अंतिम फैसले के लिये मंत्रालय के फैसले का इंतजार कर रहे हैं। इसके अलावा विश्वविद्यालय प्रशासन द्वारा हमारे खिलाफ शुरू की गई प्रोक्टोरियल जांच और प्राथमिकी पर भी मंत्रालय से दखल की मांग की है।”

जेएनयूएसयू के उपाध्यक्ष साकेत मून ने कहा कि हमें एचआरडी मंत्रालय पर विश्वास है, लेकिन पूरे मामले पर ऊपर से नजर रख रहे गृहमंत्रालय पर नहीं। इसके बाद मंत्रालय ने तत्काल यूजीसी के अध्यक्ष डीपी सिंह समेत अधिकारियों की बैठक बुलाई।

एचआरडी के सचिव ने कहा "हमने इस मुद्दे और इसे लेकर अपनाए जा रहे तौर-तरीकों पर चर्चा की।" एचआरडी मंत्रालय ने नवंबर में परिसर में सामान्य कामकाज की बहाली के लिए प्रदर्शनकारी छात्रों और प्रशासन के बीच मध्यस्था को लेकर तीन सदस्यीय समिति गठित की थी। दिसंबर में मंत्रालय द्वारा इसके समाधान के लिए तय किए गए फार्मूले के तहत जेएनयू प्रशासन को कमरे के बढ़े किराये को लेने और उपादेयता व सेवा शुल्क को यूजीसी को वहन करने के लिए कहा गया था। 

Web Title: JNU Clash: HRD ministry says agree on basic demands students, end the agitation

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