हरियाणा कांग्रेस ने खट्टर सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव के लिए विधानसभा के विशेष सत्र की मांग की

By भाषा | Updated: December 4, 2020 22:37 IST2020-12-04T22:37:03+5:302020-12-04T22:37:03+5:30

Haryana Congress demands special session of Assembly for no-confidence motion against Khattar government | हरियाणा कांग्रेस ने खट्टर सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव के लिए विधानसभा के विशेष सत्र की मांग की

हरियाणा कांग्रेस ने खट्टर सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव के लिए विधानसभा के विशेष सत्र की मांग की

चंडीगढ़, चार दिसंबर हरियाणा में कांग्रेस विधायक दल के नेता भूपिंदर सिंह हुड्डा ने शुक्रवार को कहा कि भाजपा नीत राज्य सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लाने के लिए उनकी पार्टी विधानसभा का विशेष सत्र बुलाए जाने की मांग करेगी।

हुड्डा ने दावा किया कि मनोहर लाल खट्टर सरकार ने लोगों और सदन दोनों का विश्वास खो दिया है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस का एक प्रतिनिधिमंडल जल्द ही राज्यपाल सत्यदेव नारायण आर्य से मिलकर विधानसभा का सत्र आयोजित करने की मांग करेगा।

यह पूछे जाने पर कि क्या भाजपा के कुछ विधायक उनके संपर्क में हैं, कांग्रेस नेता ने गुड़गांव में संवाददाताओं से कहा, "मैं सभी चीजों का खुलासा आपके सामने नहीं कर सकता।"

उन्होंने कहा कि दो निर्दलीय विधायकों ने पहले ही भाजपा-जननायक जनता पार्टी गठबंधन से समर्थन वापस ले लिया है और कुछ जजपा विधायकों ने किसानों के आंदोलन का समर्थन करते हुए सरकार के खिलाफ बयान दिए हैं।

विधानसभा में विपक्ष के नेता हुड्डा ने कहा, "विधानसभा के आखिरी सत्र में, हमने कहा था कि सरकार को किसानों के मुद्दों पर चर्चा करनी चाहिए।"

उन्होंने कहा, ‘‘अब, कांग्रेस विधायक दल ने राज्यपाल से मिलने और किसानों की समस्याओं पर चर्चा के लिए विधानसभा का विशेष सत्र बुलाने का आग्रह किया है,"

हुड्डा ने कहा, "हम अविश्वास प्रस्ताव लाएंगे क्योंकि मौजूदा सरकार ने न केवल लोगों का बल्कि सदन का भी विश्वास खो दिया है।"

निर्दलीय विधायकों बलराज कुंडू और सोमबीर सांगवान ने पहले ही भाजपा-जजपा सरकार से समर्थन वापस ले लिया है।

हुड्डा ने दावा किया कि कुछ विधायक "दोहरी भूमिका" निभा रहे हैं और वे सरकार के खिलाफ बयान दे रहे हैं लेकिन सरकार का समर्थन भी कर रहे हैं। अविश्वास प्रस्ताव का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि यह स्पष्ट हो जाएगा कि कौन किसानों के साथ कौन खड़ा है।

उन्होंने कहा कि जब किसान सड़कों पर हैं, तो जजपा और कुछ निर्दलीय विधायक सत्ता का सुख भोग रहे हैं।

अभी 90-सदस्यीय राज्य विधानसभा में खट्टर सरकार को बहुमत प्राप्त है। भाजपा के 40 विधायक हैं जबकि उसकी सहयोगी जजपा के 10 सदस्य हैं। कांग्रेस के 31 विधायक हैं और इनेलोद तथा हरियाणा लोकहित पार्टी के एक-एक सदस्य हैं।

सात सदस्य निर्दलीय हैं, जिनमें से बिजली मंत्री रंजीत सिंह चौटाला सहित पांच विधायक सरकार का समर्थन कर रहे हैं।

हुड्डा ने कहा कि खट्टर ने यह कहकर किसानों का ‘अपमान’ किया है कि दिल्ली की सीमाओं पर आंदोलन में हरियाणा के शामिल नहीं हैं।

उन्होंने कहा, ‘‘यही नहीं, उनके एक मंत्री ने किसानों के जख्मों पर नमक छिड़क करते कहा कि मौजूदा आंदोलन विदेशों से वित्त पोषित है। उन्हें तुरंत अपनी टिप्पणी के लिए माफी मांगनी चाहिए।’’

पूर्व मुख्यमंत्री (73) ने कहा कि उन्होंने अपने पूरे जीवन में इससे बड़ा किसान आंदोलन नहीं देखा है।

हरियाणा कांग्रेस अध्यक्ष कुमारी शैलजा ने चंडीगढ़ में एक अलग संवाददाता सम्मेलन में कहा कि अगर केंद्र कृषि कानूनों को रद्द नहीं करता है तो उनकी पार्टी सत्ता में आने पर इन कानूनों को रद्द कर देगी।

उन्होंने कहा कि जजपा और भाजपा में जो लोग किसानों के साथ हैं, उन्हें सरकार का समर्थन नहीं करना चाहिए।

उन्होंने कहा कि कांग्रेस राज्य में 27 दिसंबर को होने वाले निकाय चुनाव अपने चुनाव चिन्ह पर लड़ेगी।

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Web Title: Haryana Congress demands special session of Assembly for no-confidence motion against Khattar government

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