राज्यसभा में केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने कहा कि कश्मीरियत की बात करने वाले सूफी संतों पर हुए हमले पर क्यों छुप रहे। कश्मीरी पंडितों को घर से खदेड़ दिया गया। उनके मंदिरों को तोड़ा गया, जब कश्मीरियत की बात करते हैं तो कश्मीरी पंडितों की भी चिंता करनी चाहिए, कश्मीरी संस्कृति की चिंता करनी चाहिए।
अमित शाह ने कहा कि कश्मीर की आवाम की संस्कृति का संरक्षण हम ही करेंगे। उन्होंने कहा कि मैं निराशावादी नहीं हूं एक समय आएगा कि भवानी मंदिर में कश्मीरी पंडित वहां पूजा करते दिखाई देंगे और सूफी भाई भी वहां दिखाई पड़ेंगे।
राज्यसभा में गृहमंत्री अमित शाह ने कहा कि जम्मू कश्मीर भारत का अभिन्न अंग है कम से कम इस बार पर सदन एकमत है। उन्होंने कहा कि सरकार जम्मू कश्मीर के विकास के लिए प्रतिबद्ध है। जम्मू कश्मीर भारत का अभिन्न अंग है और कोई इसे देश से अलग नहीं कर सकता।
शाह ने कहा कि आतंकवाद के खिलाफ मोदी सरकार जीरो टोलरेंस की नीति पर काम कर रही है. विशिष्ट परिस्थिति के कारण विधायक घर पर बैठे हैं सही बात है लेकिन पंचायत चुनाव न होने की वजह से 40 हजार लोग घर पर बैठे थे। पंच-सरपंच को क्या विकास करने का हक नहीं है। आज तक इस बारे में चिंता नहीं हुई लेकिन मोदी सरकार ने पंचायत चुनाव सफलता के साथ कराए।
अमित शाह ने कहा कि राष्ट्रपति शासन में कश्मीर में काफी काम हुआ है और बाबू गांव-गांव जाकर सरकारी योजनाओं को लोगों तक पहुंचा जा रहे हैं, जहां तक विकास नहीं पहुंचा था वहां 6 साल में हमारी योजनाएं पहुंचीं हैं।
उन्होंने कहा कि शौचालय से लेकर विधवा पेंशन, वृद्धा पेंशन तक का लाभ लोगों को मिला है, जो भारत को तोड़ने की बात करेगा उसे उसी भाषा में जवाब मिलेगा। उन्होंने कहा कि घाटी की जनता से कहना चाहता हूं कि किसी से डरने की जरूरत नहीं है, गुमराह मत हों, आप भारत के साथ जुड़िए, भारत सरकार आपके जान और माल की रक्षा करेगी।