लखनऊ: समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव ने आरोप लगाया कि उत्तर प्रदेश के कई जिलों में जिला प्रशासन पुलिस के साथ मिलकर अवैध रूप से विपक्षी पार्टी के कार्यकर्ताओं को उनके घरों तक सीमित कर रहा है, उन्हें वोटों की गिनती में भाग लेने से रोक रहा है। अखिलेश यादव ने एक्स पर एक पोस्ट साझा करते हुए सुप्रीम कोर्ट, चुनाव आयोग और पुलिस प्रमुख से इस मामले को संज्ञान में लेने का अनुरोध किया है।
उन्होंने ट्वीट करते हुए लिखा, "माननीय सर्वोच्च न्यायालय, चुनाव प्रमुख व पुलिस प्रमुख इस बात का तत्काल संज्ञान लें कि मिर्ज़ापुर, अलीगढ़, कन्नौज के अलावा उत्तर प्रदेश के कई जिलो में जिलाधिकारी व पुलिस प्रशासन विपक्ष के राजनीतिक कार्यकर्ताओं को घरों में नजरबंद करने का अवैधानिक कार्य कर रहे हैं, जिससे वो कल मतगणना में हिस्सा न ले सकें।"
उन्होंने लिखा, "अपने मत की रक्षा का अधिकार सबको है और तब तो और भी ज्यादा है जब कोर्ट द्वारा लगाए गये कैमरों के सामने भी धांधली करने का दुस्साहस करनेवाली सरकार सत्ता में हो। ऐसी घटनाओं को तुरंत रोका जाए व प्रशासनिक रूप से निरुद्ध किये गये लोगों को तुरंत मुक्त किया जाए। जब समस्त राजनीतिक दल शांतिपूर्ण तरीके से कार्य कर रहे हैं, ऐसे में शासन-प्रशासन भी ऐसा कोई अनैतिक कार्य न करे, जिससे जन-आक्रोश पनपे।"
अखिलेश यादव ने आगे लिखा, "आशा है ऐसे पक्षपाती डीएम और प्रशासनिक अधिकारियों को तुरंत हटाया जाएगा और मतगणना को शांति के वातावरण में सम्पन्न कराया जाएगा।" चुनाव आयोग आज कुछ ही समय में करोड़ों वोटों की गिनती करना शुरू करेगा। आज दुनिया की अब तक की सबसे बड़ी लोकतांत्रिक प्रक्रिया के छह सप्ताह और सात चरणों के बाद देश के 18वें लोकसभा चुनाव के नतीजे सामने आ जाएंगे।