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हरियाणा से आकर संजय यादव सांसद बने और मेरे हैदराबाद से आने पर सवाल उठाते हैं?, असदुद्दीन ओवैसी ने राजद में शामिल 4 विधायकों को गद्दार कहा

By एस पी सिन्हा | Updated: September 25, 2025 15:35 IST

एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने आरोप लगाया कि उन पर सवाल उठाने वाले वास्तव में जनता को धोखा दे रहे हैं और सीमांचल को हक दिलाना उनकी प्राथमिकता है।

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ठळक मुद्देजरा बताएं कि हरियाणा से आकर राज्यसभा का एमपी बन गया वह क्या बिहार का वासी है?अगर उनके आने से विरोधियों की नींद और चैन बर्बाद हो गया है, तो उनका आना कामयाब हो गया है। पीठ में छुरा घोंपा और सीमांचल की आवाम के साथ धोखा किया।

पटनाः राजद प्रमुख लालू प्रसाद यादव के परिवार में तेजस्वी यादव के सहयोगी एवं राज्यसभा सांसद संजय यादव को लेकर जारी आंतरिक कलह के बीच अब एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने भी तंज कसा है। सीमांचल न्याय यात्रा पर किशनगंज पहुंचे ओवैसी ने संजय यादव का नाम लिए बिना कहा कि एक हरियाणा से आया हुआ व्यक्ति बिहार से राज्यसभा का एमपी बन गया तो पेट में दर्द नहीं हुआ। लेकिन, मेरे हैदराबाद से आने पर सवाल उठाते हैं। उन्होंने व्यंग्यात्मक लहजे में पूछा कि जो यह कह रहे हैं वे जरा बताएं कि हरियाणा से आकर राज्यसभा का एमपी बन गया वह क्या बिहार का वासी है?

ओवैसी ने स्पष्ट किया कि उन्हें बिहार और सीमांचल आने से दुनिया की कोई ताकत नहीं रोक सकती, “सिर्फ मौत ही” ऐसा कर सकती है। उन्होंने कहा कि अगर उनके आने से विरोधियों की नींद और चैन बर्बाद हो गया है, तो उनका आना कामयाब हो गया है। ओवैसी ने आरोप लगाया कि उन पर सवाल उठाने वाले वास्तव में जनता को धोखा दे रहे हैं और सीमांचल को हक दिलाना उनकी प्राथमिकता है।

उन्होंने यह भी दावा किया कि आज संसद और बिहार विधानसभा, दोनों जगह सीमांचल का नाम लिया जा रहा है, तो इसकी देन उनकी पार्टी है। ओवैसी ने एआईएमआईएम छोड़कर राजद में शामिल हुए चारों विधायकों को गद्दार कहते हुए कहा कि उन्होंने पीठ में छुरा घोंपा और सीमांचल की आवाम के साथ धोखा किया।

उन्होंने यह भी दोहराया कि उनकी पार्टी आगामी बिहार विधानसभा चुनाव पूरी मजबूती से लड़ेगी और उन्होंने भाजपा को सत्ता में आने से रोकने के लिए महागठबंधन में शामिल होने का प्रस्ताव भी दिया है। उन्होंने कहा कि बिहार की जनता अब खुद देख रही है कि भाजपा की ‘बी टीम’ कौन है।

ओवैसी ने दावा किया कि अगर बिहार में एनडीए की सरकार बनती है, तो इस बार मुख्यमंत्री नीतीश कुमार नहीं बल्कि भाजपा का कोई नेता होगा। उन्होंने कहा कि यह संकेत स्पष्ट हैं कि अब भाजपा अपने दम पर मुख्यमंत्री पद की दावेदारी करेगी। जब उनसे पूछा गया कि एआईएमआईएम पर मुस्लिम वोट काटने और भाजपा की मदद करने का आरोप लगता है, तो ओवैसी ने कहा कि ये महज आरोप हैं। लालू यादव के घर के बाहर हमारे कार्यकर्ता पहुंचे थे, दुश्मन भी आए तो उसे बैठाकर बात करनी चाहिए।

तेजस्वी और लालू को किस बात का डर है, ये वही जानें। मेरे दिल में कोई डर नहीं है। बता दें कि 2020 के विधानसभा चुनाव में एआईएमआईएम ने सीमांचल क्षेत्र में 5 सीटें जीतकर सबको चौंका दिया था, जिससे राजद को बड़ा नुकसान हुआ था। हालांकि बाद में इनमें से चार विधायक राजद में शामिल हो गए थे।

टॅग्स :बिहार विधानसभा चुनाव 2025असदुद्दीन ओवैसीलालू प्रसाद यादवतेजस्वी यादव
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