लाइव न्यूज़ :

अभया के भाई ने कहा,“यह ईश्वर का न्याय है”; “मेरे बच्चे को न्याय मिल गया”: मुख्य गवाह

By भाषा | Updated: December 22, 2020 19:24 IST

Open in App

कोट्टायम, 22 दिसंबर केरल में तिरुवनंपुरम की एक सीबीआई अदालत ने 21 वर्षीय सिस्टर अभया की हत्या के सिलसिले में कैथोलिक पादरी और एक नन को मंगलवार को दोषी पाया। उनका शव 1992 में कोट्टायम के एक कान्वेंट के कुएं में मिला था।

अभया के भाई बीजू थॉमस ने इसे “ईश्वर का न्याय” करार दिया। वहीं मुख्य गवाह अदक्का राजू ने फैसले के बाद कहा,‘मेरे बच्चे को न्याय मिल गया।”

बता दें कि राजू का बयान मामले में महत्वपूर्ण सबूत साबित हुआ था।

अभया मामले में कार्यकारी परिषद के संयोजक जोमन पुथेनपुरकेल ने कहा कि सच को कभी मिटाया नहीं जा सकता।

पहली बार 1993 में अपनी जांच से इसे हत्या का मामला साबित करने वाले ने सीबीआई के डीवाईएसपी वर्गीज पी थॉमस ने कहा कि उनका पक्ष साबित हो गया।

फिलहाल विदेश में रह रहे बीजू थॉमस ने टीवी चैनलों को बताया,‘‘मुझे फैसले में भगवान का न्याय दिखाई दे रहा है।’’

उन्होंने कहा कि चर्च के 'दबाव' के कारण और मामले में राजनीतिक नेताओं के हस्तक्षेप से न्याय में देरी हुई।

युवा नन के सेंट पियूस कॉन्वेंट के कुएं में से मृत मिलने के 28 साल बाद अदालत का फैसला आया है। वह कॉन्वेंट में रहती थी।

अपनी बेटी को न्याय दिलाने के लिए लड़ते हुए अभया के माता-पिता अयकरकुन्नेल थॉमस और लीलम्मा की 2016 में मौत हो गई।

राजू एक चोर था जो हत्या के दिन कॉन्वेंट में चोरी करने घुसा था। उसका बयान इस मामले में सबसे महत्वपूर्ण साबित हुआ था।

उसने सीबीआई को अपराध के दिन कोट्टोर और एक अन्य पादरी की उपस्थिति के बारे में बयान दिया था।

गरीबों के मुहल्ले में एक छोटे से घर में रहने वाले राजू ने अदालत के फैसले पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि सुनवाई के दौरान उसे अपना बयान बदलने के लिए करोड़ों रुपये देने की पेशकश की गई थी। सुनवाई के दौरान कई गवाहों ने अपने बयान बदल दिए थे।

अभया को अपना बच्चा मानते हुए उसने कहा कि नन को न्याय दिलाना उसकी सबसे बड़ी इच्छा थी।

राजू ने पत्रकारों को बताया,“मैंने एक रुपया नहीं लिया। मैं अब भी इसी कॉलोनी में रहता हूं। मैं बहुत खुश हूं कि आखिरकार आज मेरे बच्चे को न्याय मिल ही गया।”

आत्महत्या बता कर केस बंद करने के लिए मिल रहे दबावों के कारण अग्रिम सेवानिवृत्ति लेने वाले वर्गीस थॉमस ने फैसले का स्वागत किया।

जांच के दौरान अपने सामने आने वाली चुनौतियों को याद कर थॉमस की आंखों में आंसू आ गए।

थॉमस ने कहा, ‘‘मेरा पक्ष साबित हो गया। यह सच्चाई की जीत है। मैं सच्चाई के लिए खड़ा था। सच्चाई के लिए लड़ाई में जीत ही मेरा पुरस्कार है।’’

उन्होंने 10 साल की सेवा छोड़कर सीबीआई से वीआरएस ले लिया था।

सच्चाई और न्याय के लिए अपने कैरियर का बलिदान करने वाले थॉमस ने कहा, ‘‘मेरे ही रैंक के मेरे दो साथी डीआईजी के पद से सेवानिवृत्त हुए हैं।

Disclaimer: लोकमत हिन्दी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।

Open in App

संबंधित खबरें

भारतBihar: जिस डॉक्टर का नकाब नीतीश कुमार ने हटाया था, उसने शनिवार को नहीं ज्वॉइन की ड्यूटी

विश्वबांग्लादेश में उस्मान हादी की हत्या के बाद हिजाब न पहनने वाली महिलाओं पर हमलों से गुस्सा भड़का

भारतअरुणाचल प्रदेश जिला परिषद-पंचायत चुनावः अब तक घोषित 49 जिला परिषद में से 30 पर बीजेपी का कब्जा, ईटानगर नगर निगम में 14 सीट

भारतमहाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री वसंतदादा पाटिल की पत्नी शालिनीताई पाटिल का निधन, 94 साल में अलविदा, कांग्रेस सरकारों में मंत्री

क्रिकेटटी20 विश्व कप में गौतम की 'गंभीर' चाल, 4 हरफनमौला, 4 बल्लेबाज, 2 विकेटकीपर, 3 तेज गेंदबाज और 2 स्पिनर पर खेला दांव?, ऐसे बनाएंगे टीम इंडिया को चैंपियन

भारत अधिक खबरें

भारतभारत जल्द ही मेट्रो नेटवर्क की लंबाई के मामले में अमेरिका को छोड़ देगा पीछे, केंद्रीय मंत्री मनोहर लाल खट्टर का दावा

भारतWATCH: भारत की पहली मानव अंतरिक्ष उड़ान की दिशा में बड़ा कदम, इसरो ने 'गगनयान मिशन' की लैंडिंग के लिए जिम्मेदार पैराशूट का किया परीक्षण

भारतबिहार हिजाबः बाप और बेटी का रिश्ता?, राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान ने कहा- दुख है बड़ा विवाद खड़ा

भारतकश्मीर में ‘चिल्ला-ए-कलां’ शुरू?, घाटी में पड़ने वाली 40 दिनों की भीषण सर्दी क्या होती है?

भारतईटानगर नगर निगमः भाजपा ने 20 में से 14 सीट पर दर्ज की शानदार जीत, पासीघाट नगर परिषद पर पीपीए ने का कब्जा, 8 में से 5 सीट, ईटानगर-पासीघाट में कांग्रेस 0