कौन हैं पूनम गुप्ता?, रिजर्व बैंक का डिप्टी गवर्नर नियुक्त
By सतीश कुमार सिंह | Updated: April 2, 2025 16:36 IST2025-04-02T16:35:38+5:302025-04-02T16:36:27+5:30
सरकार ने प्रतिष्ठित शोध संस्थान नेशनल काउंसिल ऑफ एप्लॉयड इकनॉमिक रिसर्च (एनसीएईआर) की महानिदेशक पूनम गुप्ता को तीन साल के लिए भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) का डिप्टी गवर्नर नियुक्त करने को मंजूरी दे दी है।

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नई दिल्लीः सरकार ने एनसीएईआर की महानिदेशक पूनम गुप्ता को तीन साल के कार्यकाल के लिए आरबीआई का डिप्टी गवर्नर नियुक्त किया है। माइकल देबव्रत पात्रा के जनवरी में पद छोड़ने के बाद आरबीआई में डिप्टी गवर्नर का पद खाली हो गया था।कैबिनेट की नियुक्ति समिति (एसीसी) ने पूनम गुप्ता की आरबीआई के डिप्टी गवर्नर के रूप में तीन साल के कार्यकाल के लिए नियुक्ति को मंजूरी दे दी है। यह नियुक्ति उनके कार्यभार संभालने की तिथि से प्रभावी होगी। पूनम गुप्ता वर्तमान में भारत के सबसे बड़े आर्थिक नीति थिंक टैंक नेशनल काउंसिल ऑफ एप्लाइड इकोनॉमिक रिसर्च (एनसीएईआर) की महानिदेशक हैं। वह प्रधानमंत्री की आर्थिक सलाहकार परिषद की सदस्य भी हैं और 16वें वित्त आयोग की सलाहकार परिषद की संयोजक के रूप में कार्य करती हैं।
सूत्रों ने कहा कि मंत्रिमंडल की नियुक्ति समिति (एसीसी) ने गुप्ता की आरबीआई में डिप्टी गवर्नर पद पर नियुक्ति को उनके कार्यभार संभालने की तारीख से तीन साल के लिए मंजूरी दी है। वर्तमान में, गुप्ता एनसीएईआर की महानिदेशक हैं। वह प्रधानमंत्री की आर्थिक सलाहकार परिषद की सदस्य और 16वें वित्त आयोग की सलाहकार परिषद की संयोजक भी हैं।
वाशिंगटन में अंतरराष्ट्रीय मुद्राकोष और विश्व बैंक में लगभग दो दशक तक वरिष्ठ पदों पर काम करने के बाद वह 2021 में एनसीएईआर में शामिल हुईं। गुप्ता ने दिल्ली स्कूल ऑफ इकनॉमिक्स, यूनिवर्सिटी ऑफ मैरीलैंड (अमेरिका) में पढ़ाया और आईएसआई (भारतीय सांख्यिकी संस्थान), दिल्ली में ‘विजिटिंग फैकल्टी’ के रूप में काम किया।
वह राष्ट्रीय लोक वित्त एवं नीति संस्थान (एनआईपीएफपी) में आरबीआई चेयर प्रोफेसर और आईसीआरआईईआर में प्रोफेसर भी रही हैं। गुप्ता के पास अमेरिका के मैरीलैंड विश्वविद्यालय से अर्थशास्त्र में स्नात्कोत्तर डिग्री और पीएचडी तथा दिल्ली विश्वविद्यालय के दिल्ली स्कूल ऑफ इकनॉमिक्स से अर्थशास्त्र में मास्टर डिग्री है। उन्होंने अंतरराष्ट्रीय अर्थशास्त्र पर पीएचडी के लिए 1998 में एक्जिम बैंक पुरस्कार जीता था।