रांचीः झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने अगले दो साल में जरूरतमंदों के लिए मकान बनाने के वास्ते 15,000 करोड़ रुपये की ‘अबुआ आवास योजना’ की मंगलवार को घोषणा की। रांची के मोराबादी मैदान में राष्ट्रीय ध्वज फहराते हुए सोरेन ने कहा कि उनकी सरकार मजबूत राज्य के निर्माण का लगातार प्रयास कर रही है और वादों को पूरा करने की हरसंभव कोशिश कर रही है।
केंद्र सरकार पर निशाना साधते हुए उन्होंने कहा कि राज्य को सूखे से निपटने के लिए केंद्र से आवश्यक सहायता नहीं मिली। उन्होंने कहा, ‘‘हमें केंद्र सरकार से उम्मीद के अनुरूप मदद नहीं मिली लेकिन फिर भी राज्य सरकार ने मुख्यमंत्री सूखा राहत योजना और झारखंड कृषि कर्ज माफी योजना के जरिए किसानों की हरसंभव मदद करने की कोशिश की।
सरकार स्थिति पर करीबी नजर रख रही है।’’ सोरेन ने कहा, ‘‘मैंने राज्य में सभी को तीन कमरों का मकान देने का वादा किया था। अपने वादे को पूरा करते हुए, मैं मंच से एक नयी योजना ‘अबुआ आवास योजना’ की घोषणा करता हूं। आने वाले दो वर्षों में सरकार अपनी निधि से 15,000 करोड़ रुपये की लागत से जरूरतमंदों को मकान देगी।’’
उन्होंने कहा कि उनकी सरकार ने मजबूत झारखंड के निर्माण का संकल्प लिया है और पुरानी पेंशन योजना फिर से लागू करने, पुलिसकर्मियों को अवकाश लाभ देने, छात्रों को उच्च शिक्षा के लिए विदेश भेजने और योजनाओं को घर-घर तक ले जाने जैसे कुछ कदम उठाए हैं।
सरकार द्वारा उठाए विभिन्न कदमों के बारे में बताते हुए उन्होंने कहा कि स्थानीय नागरिकों के फायदे के लिए करीब 38,000 पदों पर नियुक्तियां की जा रही है। मुख्यमंत्री ने कहा, ‘‘हमने रोजगार प्रोत्साहन भत्ता देने और राज्य के बेरोजगार युवाओं को कौशल प्रशिक्षण देने का वादा किया था।
आज, मुझे इस मंच से यह सूचित करते हुए बहुत खुशी हो रही है कि राज्य के युवाओं को कौशल प्रशिक्षण देने के लिए मुख्यमंत्री सारथी योजना शुरू की गयी है।’’ उन्होंने कहा कि इस योजना के पहले चरण के तहत 80 मंडल मुख्यालयों में ‘बिरसा केंद्र’ शुरू किए गए हैं जहां राज्य के लाखों युवाओं को कौशल प्रशिक्षण, रोजगार प्रोत्साहन भत्ता और परिवहन भत्ता दिया जा रहा है।‘‘
सोरेन ने कहा, ‘‘युवाओं के कौशल विकास के लिए राज्य के 80 मंडलों में मुख्यमंत्री सारथी योजना शुरू की गयी है। मुख्यमंत्री रोजगार सृजन योजना के प्रावधानों में छूट दी गयी है। सरकार अपने कर्मचारियों की समयबद्ध तरीके से पदोन्नति भी कर रही है।’’ उन्होंने बताया कि 35 लाख लाभार्थियों को विभिन्न मदों में पेंशन दी जा रही है और जुलाई 2023 तक पेंशन देने पर 1,400 करोड़ रुपये खर्च किए गए हैं।
उन्होंने बताया कि वित्त वर्ष 2022-23 में 33 लाख छात्रों को पूर्व मैट्रिक छात्रवृत्तियां दी गयी है जिस पर 724 करोड़ रुपये खर्च किए गए जबकि 2.50 लाख छात्रों को मैट्रिक के बाद की छात्रवृत्तियां दी गयी है जिस पर 315 करोड़ रुपये खर्च किए गए हैं। सोरेन ने छात्रों के लिए उज्ज्वल भविष्य का वादा करते हुए कहा कि सरकार उनके लिए आधुनिक सुविधाओं से लैस बहुमंजिला छात्रावास बना रही है।
उन्होंने बताया कि राज्य सरकार की किसानों के लाभ के लिए कुल 88 योजनाएं हैं। सोरेन ने कहा कि झारखंड सरकार जल जीवन मिशन के तहत 2024 तक 61 लाख ग्रामीण परिवारों को स्वच्छ पेयजल उपलब्ध कराने के लिए प्रतिबद्ध है।
औद्योगिक मोर्चे पर उन्होंने कहा कि सरकार ने जमशेदपुर में पहला हाइड्रोजन इंजन संयंत्र लगाने के प्रस्ताव को मंजूरी दी है। उन्होंने कहा कि अगले पांच वर्षों में झारखंड की 4000 मेगावाट सौर ऊर्जा उत्पन्न करने की योजना है। उन्होंने कहा कि झारखंड की संस्कृति और परंपरा को वैश्विक स्तर पर दिखाने के प्रयास किए जा रहे हैं और हाल में ‘झारखंड आदिवासी महोत्सव’ इस दिशा में मील का पत्थर था।