वेदप्रताप वैदिक का ब्लॉग: कश्मीर और ट्रम्प की कूटनीति
By वेद प्रताप वैदिक | Published: August 22, 2019 08:24 AM2019-08-22T08:24:39+5:302019-08-22T08:24:39+5:30
इमरान ने दूसरे बालाकोट की बात कई बार कह दी है. दोनों के बीच युद्ध छिड़ जाए तो अमेरिका को कौन-सा नुकसान है? उसे तो फायदा ही फायदा है. दोनों मुल्क उससे हथियार खरीदेंगे और उसके कृपाकांक्षी बने रहेंगे.
अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प की कूटनीति भी बड़ी दिलचस्प है. भारत द्वारा उनकी मध्यस्थता से इनकार के बावजूद वे मध्यस्थता किए जा रहे हैं. कभी वे नरेंद्र मोदी से बात करते हैं तो कभी इमरान खान से! मध्यस्थता और क्या होती है? उनकी मध्यस्थता कश्मीर से बिल्कुल भी संबंधित नहीं है. वे कश्मीर के बारे में तो किसी से कोई बात कर ही नहीं रहे हैं.
न तो वे भारत से पूछ रहे हैं कि आपने धारा 370 और 35-ए क्यों खत्म की है और न ही वे पाकिस्तान से कब्जाए हुए कश्मीर को लौटाने की बात कर रहे हैं. उनकी तो बस एक ही टेक है. भई ! मोदी और इमरान, तुम हालात बिगड़ने मत देना! किसी पाकिस्तानी मंत्री ने अपने परमाणु बम का हवाला भी दे दिया. इधर भारतीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने परमाणु-संयम पर तगड़ी बल्लेबाजी कर दी.
इमरान ने दूसरे बालाकोट की बात कई बार कह दी है. दोनों के बीच युद्ध छिड़ जाए तो अमेरिका को कौन-सा नुकसान है? उसे तो फायदा ही फायदा है. दोनों मुल्क उससे हथियार खरीदेंगे और उसके कृपाकांक्षी बने रहेंगे. लेकिन ट्रम्प की चिंता कुछ और ही है. वह है, अफगानिस्तान. ट्रम्प चाहते हैं कि राष्ट्रपति के अगले चुनाव में वे खम ठोंक सकें कि देखो, मैं हूं कि जिसने अफगानिस्तान से अपनी फौजों की वापसी कर ली और हर माह करोड़ों डॉलर वहां बर्बाद होने से बचा लिए.
ट्रम्प को पता है कि भारत-पाक युद्ध चाहे न छिड़े, सिर्फ तनाव ही बढ़ जाए, तो भी पाकिस्तान की जो फौजें अफगान-सीमांत पर लगी हैं, उन्हें वह भारतीय सीमा पर डटाना चाहेगा. ऐसे में ट्रम्प अपने मन की मुराद पूरी करने में काफी परेशान हो सकते हैं. उधर इमरान खान को पता है कि वे कहीं भी जाएं, कहीं भी उनकी दाल गलने वाली नहीं है.
अपनी फौज को काबू में रखने के लिए उन्होंने अपने जनरल बाजवा को तीन साल तक और बने रहने का रसगुल्ला दे दिया है. इस भारत-पाक तनाव के कारण ट्रम्प को अपनी छवि सुधारने का मौका भी मिल रहा है. कई राष्ट्रनेताओं के बारे में ऊटपटांग जुमले उछालने वाले ट्रम्प के मुंह से संयम और शांति की बातें काफी मजेदार लग रही हैं.