‘आप’ से हिसाब चुकाना चाहती है कांग्रेस?, अरविंद केजरीवाल के खिलाफ संदीप दीक्षित

By राजकुमार सिंह | Updated: January 6, 2025 05:37 IST2025-01-06T05:35:31+5:302025-01-06T05:37:20+5:30

Delhi Assembly Elections 2025: केजरीवाल के विरुद्ध नई दिल्ली सीट से संदीप दीक्षित को उम्मीदवार बनाया गया है, जो 15 साल तक दिल्ली की कांग्रेसी मुख्यमंत्री रहीं शीला दीक्षित के बेटे हैं.

Delhi Assembly Elections 2025 live updates Does Congress want settle scores with AAP rAHUL GANDHI VS ARVIND KEJRIWAL HARYANA BLOG RAJ KUMAR SINGH | ‘आप’ से हिसाब चुकाना चाहती है कांग्रेस?, अरविंद केजरीवाल के खिलाफ संदीप दीक्षित

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Highlightsदिल्ली विधानसभा चुनाव के लिए दोनों आमने-सामने हैं.लोकसभा चुनाव के बाद वह दोस्ती फिर दुश्मनी में बदल रही है. विपक्षी गठबंधन ‘इंडिया’ में शामिल हो दोस्त बन गई.

Delhi Assembly Elections 2025: कहावत है कि दुश्मन का दुश्मन दोस्त होता है, लेकिन दिल्ली की राजनीति इसे बदलती दिख रही है. छह महीने पहले लोकसभा चुनाव में आम आदमी पार्टी और कांग्रेस ने मिलकर दिल्ली में भाजपा के विरुद्ध ताल ठोंकी थी, पर भाजपा फिर भी सातों सीटें जीत गई. तब भी आप से गठबंधन का विरोध हुआ था. दिल्ली कांग्रेस अध्यक्ष अरविंदर सिंह लवली तो पार्टी छोड़ भाजपा में ही चले गए. तब कांग्रेस और आप को भाजपा दुश्मन नंबर एक नजर आती थी. इसलिए जिस कांग्रेस पर भ्रष्टाचार के गंभीर आरोप लगाते हुए आप 2013 में सत्ता में आई थी, उसी के साथ 2023 में दो दर्जन दलों के विपक्षी गठबंधन ‘इंडिया’ में शामिल हो दोस्त बन गई. लेकिन लोकसभा चुनाव के बाद वह दोस्ती फिर दुश्मनी में बदल रही है. दिल्ली विधानसभा चुनाव के लिए दोनों आमने-सामने हैं.

आप के प्रमुख उम्मीदवारों की घेराबंदी की जा रही है. केजरीवाल के विरुद्ध नई दिल्ली सीट से संदीप दीक्षित को उम्मीदवार बनाया गया है, जो 15 साल तक दिल्ली की कांग्रेसी मुख्यमंत्री रहीं शीला दीक्षित के बेटे हैं. केजरीवाल सरकार में उपमुख्यमंत्री रहे मनीष सिसोदिया के विरुद्ध कांग्रेस ने पूर्व मेयर फरहाद सूरी को उम्मीदवार बनाया है.

मुख्यमंत्री आतिशी के विरुद्ध अलका लांबा को चुनाव मैदान में उतारा है, जो खुद भी आप में रह आई हैं. चुनावी घेराबंदी से भी आगे बढ़ कर कांग्रेस ने आप के विरुद्ध खुली राजनीतिक जंग का ऐलान कर दिया है. शराब घोटाले के बाद अब जिस महिला सम्मान योजना के संकट में आप फंसती दिख रही है, उसकी शिकायत भी दिल्ली के उपराज्यपाल से कांग्रेस ने ही की.

संदीप दीक्षित ने इसकी लिखित शिकायत करते हुए पंजाब पुलिस द्वारा कांग्रेस उम्मीदवारों की जासूसी और चुनाव के लिए पंजाब से दिल्ली कैश लाए जाने के आरोप भी लगाए. आश्चर्य नहीं कि तत्काल जांच के आदेश भी दे दिए गए. बदलते रिश्तों के पीछे बताया जा रहा है कि कांग्रेस ने उसको लगातार कमजोर करनेवाली आप से अंतत: हिसाब चुकता करने का फैसला कर लिया है.

विधानसभा चुनाव परिणाम बताते हैं कि जैसे-जैसे आप चढ़ती गई, कांग्रेस रसातल में जाती रही. 1993 में जब भाजपा ने दिल्ली में सरकार बनाई थी, तब भी कांग्रेस ने 34.48 प्रतिशत वोटों के साथ 14 सीटें जीती थीं. 1998 में कांग्रेस ने 47.76 प्रतिशत वोटों के साथ 52 सीटें जीतीं और शीला दीक्षित के नेतृत्व में सरकार बनाई. 2003 में वोट प्रतिशत तो बढ़कर 48.13 हो गया, पर सीटें घट कर 47 रह गईं.

2008 में कांग्रेस ने 40.31 प्रतिशत वोटों के साथ 43 सीटें जीत कर लगातार तीसरी बार सरकार बनाई, लेकिन आप के अस्तित्व में आने के बाद हुए पहले चुनाव में 2013 में कांग्रेस का वोट प्रतिशत घट कर 24.55 रह गया और सीटें आठ. 2015 में कांग्रेस का वोट प्रतिशत घट कर 9.56 रह गया और  खाता तक नहीं खुल पाया. फिर 2020 में तो वोट प्रतिशत 4.26 पर आ गया. जाहिर है, खाता फिर नहीं खुला.

Web Title: Delhi Assembly Elections 2025 live updates Does Congress want settle scores with AAP rAHUL GANDHI VS ARVIND KEJRIWAL HARYANA BLOG RAJ KUMAR SINGH

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