कांग्रेस महाधिवेशन में राहुल गांधी पर टिकी थी निगाहें, महफिल फिर सोनिया गांधी ने लूटी!
By आदित्य द्विवेदी | Updated: March 17, 2018 17:18 IST2018-03-17T17:18:56+5:302018-03-17T17:18:56+5:30
कांग्रेस महाधिवेशन के पहले दिन राहुल गांधी और सोनिया गांधी दोनों नेताओं ने कार्यकर्ताओं को संबोधित किया। राहुल फीके रहे वहीं सोनिया गांधी ने पकड़ी कार्यकर्ताओं की नब्ज।

कांग्रेस महाधिवेशन में राहुल गांधी पर टिकी थी निगाहें, महफिल फिर सोनिया गांधी ने लूटी!
नई दिल्ली , 17 मार्च: इंदिरा गांधी स्टेडियम में कांग्रेस का 84वां महाधिवेशन जारी है। राहुल गांधी की अध्यक्षता में यह पहला महाधिवेशन है लिहाजा सभी की निगाहें उन पर टिकी हुई थी। अपने उद्घाटन भाषण को संक्षिप्त रखते हुए कहा कि वो समापन भाषण में पूरी बात करेंगे। इस दो दिवसीय अधिवेशन में वो कार्यकर्ताओं को सुनने पर ध्यान देंगे। अपने भाषण में राहुल गांधी ने हिंदुस्तान को जोड़ने, वरिष्ठ नेताओं को साथ लेकर चलने और देशभर में भाईचारे की भावना बढ़ाने की बात कही।
दोपहर बाद कांग्रेस की पूर्व अध्यक्ष सोनिया गांधी ने कांग्रेस नेताओं और कार्यकर्ताओं को संबोधित किया। वो मोदी सरकार की नीतियों पर हमलावर रहीं। आक्रामक तेवर के साथ सोनिया गांधी कार्यकर्ताओं को कुर्बानी के लिए तैयार रहने को कहा है। दोनों नेताओं के भाषण में फर्क साफ तौर पर दिखाई दिया। सोनिया गांधी ने एकबार फिर साबित किया है कि आज भी वो कार्यकर्ताओं की नब्ज राहुल गांधी से बेहतर समझती हैं। (यह भी पढ़ेंः- कांग्रेस महाधिवेशन LIVE: सोनिया-राहुल के संबोधन ने कार्यकर्ताओं में भरा उत्साह, जानें बड़ी बातें)
कांग्रेस महाधिवेशन में सोनिया गांधी का भाषणः-
कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष सोनिया गांधी ने अपने भाषण को आक्रामक रखा। उन्होंने मोदी सरकार की दमनकारी नीतियों पर हमला बोला। उन्होंने कहा कि इस अंहकारी सत्ता से निपटने के लिए पार्टी कार्यकर्ताओं को किसी भी कुर्बानी के लिए तैयार रहना चाहिए। सोनिया गांधी ने अपने भाषण में कांग्रेस अध्यक्ष के नेतृत्व को कई बार रेखांकित किया। पढ़िए भाषण की कुछ प्रमुख बातें...
- पिछले चार साल में कांग्रेस को बरबाद करने के लिए बीजेपी के अंहकारी नेताओं ने कोई कसर नहीं छोड़ी। लेकिन सत्ता के सामने कांग्रेस ना तो कभी झुकी है और ना कभी झुकेगी।
- 2014 के 'सबका साथ-सबका विकास', 'ना खाऊंगा-ना खाने दूंगा' जैसे नारे सिर्फ ड्रामेबाजी और कुर्सी हथियाने की चाल थी।
- कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी और हम सभी के सामने जो चुनौतियां हैं वो मामूली नहीं है। उनका डटकर मुकाबला करना होगा। हमें ऐसे भारत का निर्माण करना है जो सत्ता की मनमानी से मुक्त हो। पक्षपात मुक्त भारत, प्रतिशोध मुक्त भारत। इसके लिए एक कांग्रेस जन को हर बलिदान देने के लिए तैयार रहना है।
- राजनीति की दुनिया में मैं कभी नहीं आना चाहती थी। लेकिन जब मुझे एहसास हुआ कि पार्टी कमजोर होती जा रही है। तब लोगों की भावनाओं की कद्र करते हुए मैंने कांग्रेस नेतृत्व संभाला।
कांग्रेस महाधिवेशन में राहुल गांधी का भाषणः-
कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के उद्घाटन संबोधन पर सभी की निगाहें टिकी हुई थी। उन्होंने अपने भाषण को बेहद संक्षिप्त रखा। राहुल ने कांग्रेस के चुनाव चिन्ह 'पंजा के निशान' को देश को जोड़ने वाला बताया। राहुल ने पार्टी के वरिष्ठ नेताओं को साथ लेकर युवाओं के सहारे पार्टी चलाने की बात कही। जानें राहुल के भाषण की प्रमुख बातें...
- कांग्रेस पार्टी और विपक्ष में सिर्फ एक ही फर्क है। वो गुस्से का प्रयोग करते हैं। हम प्यार और भाईचारे का प्रयोग करते हैं।
- ये देश हर धर्म-जाति-वर्ग का है। हम किसी को दरकिनार नहीं करेंगे। सबको साथ लेकर चलेंगे।
- आज हिंदुस्तान को बांटा जा रहा है। उसे जोड़ने का काम कांग्रेस पार्टी ही कर सकती है।
- यहां मौजूद सभी वरिष्ठ नेताओं और युवाओं को साथ लेकर पार्टी आगे बढ़ेगी।
सोनिया गाँधी के भाषण का असर इसी बात से लगाया जा सकता है की जहाँ राहुल के संक्षिप्त संबोधन को कार्यकर्ताओं से काम तालियाँ मिलीं, वहीँ सोनिया के दमदार भाषण को बार बार तालियों से सराहा गया। कहीं न कहीं इससे सोनिया की पार्टी पर कितनी पकड़ है इसका भी अंदाज़ा मिलता है।