तेगुसिगल्पाः होंडुरास में ट्रंप समर्थित उम्मीदवार नासरी अस्फुरा को राष्ट्रपति चुनाव में विजेता घोषित किया गया है। निर्वाचन अधिकारियों ने बुधवार दोपहर इसकी घोषणा की, जिससे हफ्तों से जारी मतगणना का अंत हुआ। इस लंबी प्रक्रिया ने मध्य अमेरिकी देश की नाजुक चुनावी प्रणाली की विश्वसनीयता पर सवाल खड़े कर दिए थे। यह चुनाव लातिन अमेरिका में दक्षिणपंथ की ओर झुकाव को आगे बढ़ाता है। इससे ठीक एक सप्ताह पहले चिली में भी दक्षिणपंथी नेता जोस एंतोनियो कास्ट को राष्ट्रपति चुना गया था। रूढ़िवादी नेशनल पार्टी के नेता अस्फुरा को 30 नवंबर को हुए चुनाव में 40.27 प्रतिशत वोट मिले।
उन्होंने कंजरवेटिव लिबरल पार्टी के चार बार के उम्मीदवार साल्वाडोर नसराला को बेहद करीबी मुकाबले में हराया, जिन्हें 39.53 प्रतिशत मत प्राप्त हुए। होंडुरास की राजधानी तेगुसिगल्पा के पूर्व मेयर अस्फुरा ने राष्ट्रपति पद के लिए अपने दूसरे प्रयास में जीत हासिल की। मतगणना के दौरान हफ्तों तक उनके और नसराला के बीच कांटे की टक्कर रही, जिसे लेकर अंतरराष्ट्रीय स्तर पर चिंता भी जताई गई थी।
मंगलवार रात कई निर्वाचन अधिकारियों और उम्मीदवारों के बीच परिणामों को लेकर टकराव की स्थिति आई। अस्फुरा के पार्टी मुख्यालय में उनके समर्थकों ने जीत का जश्न मनाया। परिणाम घोषित होने के बाद अस्फुरा ने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर लिखा, “होंडुरास : मैं शासन के लिए तैयार हूं। मैं आपको निराश नहीं करूंगा।”
ये नतीजे मौजूदा वामपंथी राष्ट्रपति और उनकी सत्तारूढ़ डेमोक्रेटिक सोशलिस्ट पार्टी ‘लिबर्टी एंड री-फाउंडेशन पार्टी’ (एलआईबीआरई) के लिए झटका साबित हुए। पार्टी का उम्मीदवार केवल 19.19 प्रतिशत वोट के साथ तीसरे स्थान पर रहा। अमेरिकी विदेश मंत्री मार्को रुबियो ने बुधवार को अस्फुरा को बधाई दी।
उन्होंने ‘एक्स’ पर लिखा, “होंडुरास की जनता ने अपना फैसला सुना दिया है… (ट्रंप प्रशासन) समृद्धि और सुरक्षा को आगे बढ़ाने के लिए उनके प्रशासन के साथ काम करने को तत्पर है।” इसके अलावा, लातिन अमेरिका के कई दक्षिणपंथी नेताओं ने भी अस्फुरा को जीत की बधाई दी, जिनमें ट्रंप के सहयोगी और अर्जेंटीना के राष्ट्रपति जेवियर माइली प्रमुख हैं।