Pakistan Army chief: लेफ्टिनेंट जनरल आसिम मुनीर पाकिस्तान के नए सेना प्रमुख चुने गए हैं। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने मुनीर को बृहस्पतिवार को देश का नया सेना प्रमुख चुना। वह निवर्तमान सेना प्रमुख जनरल कमर जावेद बाजवा की जगह लेंगे। बाजवा 29 नवंबर को सेवानिवृत्त होने वाले हैं। काफी समय से जारी अनिश्चितता के बादल अब साफ हो गए।
बाजवा (61) को 2016 में तीन साल के लिए सेना प्रमुख नियुक्त किया गया था। उन्हें 2019 में तीन साल का सेवा विस्तार दिया गया था। उन्होंने अपने कार्यकाल के और विस्तार का अनुरोध करने की संभावना से इनकार कर दिया था। लेफ्टिनेंट जनरल साहिर शमशाद मिर्जा को ज्वाइंट चीफ ऑफ स्टाफ कमेटी का अध्यक्ष चुना गया है।
सेना ने नियुक्तियों के लिए छह शीर्ष लेफ्टिनेंट जनरल के नाम भेजे थे। लेफ्टिनेंट जनरल आसीम मुनीर (वर्तमान में क्वार्टर मास्टर जनरल), लेफ्टिनेंट जनरल साहिर शमशाद मिर्जा (कमांडर 10 कोर), लेफ्टिनेंट जनरल अजहर अब्बास (चीफ ऑफ जनरल स्टाफ), लेफ्टिनेंट जनरल नोमान महमूद (राष्ट्रीय रक्षा विश्वविद्यालय के अध्यक्ष), लेफ्टिनेंट जनरल फैज हामिद (कमांडर बहावलपुर कोर) और लेफ्टिनेंट जनरल मोहम्मद आमिर (कमांडर गुजरांवाला कोर) के नाम भेजे गए थे।
रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ ने सोमवार को कहा था कि अगले सेना प्रमुख की नियुक्ति की प्रक्रिया 25 नवंबर तक पूरी हो जाएगी। रक्षा मंत्री ने कहा था कि प्रधानमंत्री सैन्य नेतृत्व को भरोसे में लेंगे, जिसके बाद कोई फैसला किया जाएगा। उन्होंने कहा था, ‘‘ मुझे उम्मीद है कि नियुक्ति की प्रक्रिया 25 नवंबर तक पूरी हो जाएगी।’’
जनरल बाजवा ने सोमवार को अपने विदाई दौरे के तहत इस्लामाबाद में नौसेना और वायु सेना मुख्यालय का दौरा किया। उन्होंने रावलपिंडी कोर मुख्यालय का भी दौरा किया और शहीद स्मारक पर पुष्पांजलि अर्पित की। सेना प्रमुख की नियुक्ति को लेकर काफी चर्चा है लेकिन ‘ज्वाइंट चीफ ऑफ स्टाफ कमेटी’ (सीजेसीएस) के प्रमुख पद पर भी नियुक्ति की जानी है।
इसलिए दो लेफ्टिनेंट जनरल को ‘फोर स्टार’ (इनकी वर्दी के कॉलर बैंड पर चार सितारे होते हैं और ये जनरल रैंक के अधिकारी होते हैं) के रूप में पदोन्नत किया जाएगा। सीजेसीएस सशस्त्र बलों में सर्वोच्च पद है, लेकिन सैनिकों की लामबंदी, नियुक्तियों और स्थानांतरण सहित प्रमुख शक्तियां थल सेनाध्यक्ष के पास होती हैं।
इसलिए फौज में सेना प्रमुख को सबसे शक्तिशाली माना जाता है। पाकिस्तान में फौज काफी ताकतवार मानी जाती है। पाकिस्तान को अस्तित्व में आए 75 साल हुए हैं और मुल्क पर आधे से ज्यादा वक्त सेना का शासन रहा है। सुरक्षा और विदेश नीति में फौज का काफी दखल रहता है।
(इनपुट एजेंसी)