इस्लामाबाद: भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) के शिखर सम्मेल में भाग लेने के लिए मंगलवार को इस्लामाबाद पहुंचे। इस बार एससीओ शिखर सम्मेलन की मेजबानी पाकिस्तान कर रहा है। इस सम्मेलन में जयशंकर भारतीय प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व कर रहे हैं। शिखर सम्मेलन के इतर पाकिस्तान और भारत के बीच द्विपक्षीय वार्ता नहीं होगी।
पाकिस्तान ने विदेश मंत्री एस जयशंकर की इस्लामाबाद यात्रा के दौरान भारत के साथ द्विपक्षीय मुद्दों पर बातचीत की संभावना से इनकार किया है। भारत ने पहले घोषणा की थी कि जयशंकर इस्लामाबाद में होने वाले एससीओ शिखर सम्मेलन में भाग लेने के लिए पाकिस्तान जाने वाले प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व करेंगे और इस यात्रा के दौरान पाकिस्तान से द्विपक्षीय वार्ता नहीं करेंगे।
फरवरी 2019 में पुलवामा आतंकी हमले के जवाब में भारत के लड़ाकू विमानों ने पाकिस्तान के बालाकोट में जैश-ए-मोहम्मद के आतंकवादी प्रशिक्षण शिविर पर बमबारी की थी, जिसके बाद भारत और पाकिस्तान के बीच संबंध गंभीर तनाव में आ गए थे। 5 अगस्त, 2019 को भारत द्वारा जम्मू-कश्मीर की विशेष शक्तियों को वापस लेने और राज्य को दो केंद्र शासित प्रदेशों में विभाजित करने की घोषणा के बाद संबंध और भी खराब हो गए।
नई दिल्ली द्वारा अनुच्छेद 370 को निरस्त करने के बाद पाकिस्तान ने भारत के साथ राजनयिक संबंधों को कम कर दिया। भारत यह कहता रहा है कि वह पाकिस्तान के साथ सामान्य पड़ोसी संबंध चाहता है, जबकि इस बात पर जोर देता रहा है कि इस तरह के जुड़ाव के लिए आतंक और शत्रुता से मुक्त वातावरण बनाने की जिम्मेदारी इस्लामाबाद पर है।
पाकिस्तान के तत्कालीन विदेश मंत्री बिलावल भुट्टो जरदारी गोवा में एससीओ देशों के विदेश मंत्रियों की व्यक्तिगत बैठक में भाग लेने के लिए मई 2023 में भारत आए थे। यह लगभग 12 वर्षों में किसी पाकिस्तानी विदेश मंत्री की पहली भारत यात्रा थी।