पंचक आज देर रात हो जाएगा खत्म, अगले महीने में चैत्र नवरात्रि से पहले 21 मार्च से फिर होगा शुरू

By विनीत कुमार | Published: February 27, 2020 08:26 AM2020-02-27T08:26:34+5:302020-02-27T08:30:38+5:30

इस बार चैत्र नवरात्रि की शुरुआत 25 मार्च से होने जा रही है। वहीं, पंचक 21 मार्च को सुबह 6.21 बजे से लग जाएगा और यह 26 तारीख को सुबह 7.17 बजे खत्म होगा।

Panchak February 2020 to end today, Panchak in march will start from 21 March before chaitra Navratri | पंचक आज देर रात हो जाएगा खत्म, अगले महीने में चैत्र नवरात्रि से पहले 21 मार्च से फिर होगा शुरू

पंचक आज देर रात होगा खत्म

Highlightsहर 27 दिन में लगता है पांच दिनों का पंचक, अशुभ काल माना गया है इसे पांच नक्षत्रों के विशेष मेल से बनने वाले योग को पंचक कहा जाता है

पिछले पांच दिनों से लगा हुआ पंचक आज देर रात खत्म हो जाएगा। हिंदू पंचांग के अनुसार पंचक देर रात 1.08 बजे खत्म होगा जो 23 फरवरी से लगा हुआ था। इसके साथ ही कई शुभ कार्य जो इन दिनों में करने की मनाही होती है, उसे एक बार फिर शुरू किया जा सकता है। हिंदी कैलेंडर के अनुसार पंचक हर महीने में एक बार लगता है। अगला पंचक यानी चैत्र माह का पंचक 21 मार्च से शुरू होगा और 26 मार्च की सुबह खत्म होगा। बता दें कि पंचक काल पांच दिन का होता है।

क्या होता है पंचक

वैदिक ज्योतिष के अनुसार दिन के हिसाब से सभी पंचक का प्रभाव अलग-अलग होता है। यह इस बात पर निर्भर है कि पंचक की शुरुआत किस दिन से हुई है। पंचक दरअसल हर 27 दिन में आता है। वैदिक ज्योतिष के अनुसार पांच नक्षत्रों के विशेष मेल से बनने वाले योग को पंचक कहा जाता है। 

चंद्रमा एक राशि में ढाई दिन रहता है। इस तरह दो राशियों में चंद्रमा पांच दिनों तक रहता है। इन्हीं पांच दिनों के दौरान चंद्रमा जब आखिरी पांच नक्षत्रों धनिष्ठा, शतभिषा, पूर्वाभाद्रपद, उत्तराभाद्रपद और रेवती से होकर गुजरता है तो इसे पंचक कहते हैं। कुल 27 नक्षत्र होते हैं। इसी में आखिरी पांच को दूषित माना गया है।

पंचक में नहीं करने चाहिए शुभ काम

पंचक की अवधि के दौरान कई ऐसे काम होते हैं जिन्हें करने की मनाही होती है। मान्यता है कि पंचक के दौरान दक्षिण दिशा की यात्रा नहीं करनी चाहिए। इसे यम की दिशा के तौर पर जाना जाता है। इसलिए इस दिशा में पंचक के दौरान यात्रा से हानि और कष्ट की आशंका रहती है। 

पंचक के दौरान सोने के लिए स्थान जैसे पलंग बनवाना, पलंग खरीदना, बिस्तर आदि खरीदना भी वर्जित है। इन दिनों में इन्हें खरीदना अशुभ माना गया है। पंचक काल में घर की छत नहीं डाली जानी चाहिए। इसे नुकसान और घर में क्लेश की आशंका बनी रहती है। 

मार्च में चैत्र नवरात्रि से पहले लगेगा पंचक

इस बार चैत्र नवरात्रि की शुरुआत 25 मार्च से होने जा रही है। वहीं, पंचक 21 मार्च को सुबह 6.21 बजे से लग जाएगा और यह 26 तारीख को सुबह 7.17 बजे खत्म होगा। इस लिहाज से चैत्र नवरात्रि की शुरुआत एक तरह से पंचक में ही होने जा रही है। चैत्र नवरात्रि का समापन 2 अप्रैल को होगा। इस दौरान नौ दिन में मां शक्ति के अलग-अलग रूपों की पूजा की जाती है। घरों में कलश स्थापना होती है और कई लोग व्रत करते हैं। कई घरों में अखंड दीप भी जलाते हैं।

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