नोएडाः भीम आर्मी चीफ चंद्रशेखर अब सक्रिय राजनीति में उतरने जा रहे हैं. उन्होंने रविवार को नोएडा में अपनी नई पार्टी की घोषणा की. उनकी नई पार्टी का नाम 'आजाद समाज पार्टी' रखा गया है.
बता दें कि युवाओं में चंद्रशेखर को लेकर काफी क्रेज है. चंद्रशेखर उसी जाटव जाति से आते हैं, जिससे मायावती का ताल्लुक है. हालांकि, कहा जा रहा है कि चंद्रशेखर बसपा की जगह तो नहीं ले सकते, लेकिन अपनी अलग पार्टी की पहचान से बसपा को नुकसान जरूर पहुंचा सकते हैं. इसका कारण मौजूदा दौर में मायावती की राजनीतिक साख का गिरना और दलित राजनीति में एक तरह का वैक्यूम बनना है.
इस वैक्यूम को चंद्रशेखर कितना भर पाते हैं, यह समय ही बताएगा. जानकारों का मानना है कि वर्ष 2022 में होने वाले उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव के मद्देनजर चंद्रशेखर का यह कदम पश्चिमी उत्तर प्रदेश की राजनीति में एक नया समीकरण बना सकता है.
सहारनपुर में दलित और ठाकुरों में टकराव के बाद भीम आर्मी के संस्थापक चंद्रशेखर चर्चा में आए थे. सहारनपुर जेल से रिहा होने के बाद वह लगातार केंद्र और यूपी सरकार को चुनौती दे रहे हैं. नई पार्टी की घोषणा के लिए आयोजित कार्यक्रम स्थल पर भीम आर्मी के कार्यकर्ता और पुलिस प्रशासन आमने-सामने होते दिखे.
दरअसल, जिला प्रशासन ने कोरोना वायरस के चलते मनोरंजन, सार्वजनिक और सामूहिक कार्यक्र मों पर रोक लगा रखी है. भीम आर्मी ने कार्यक्र म स्थल के लिए जो जगह चुनी, वहां पर पुलिस ने रोक लगाते हुए कार्यक्र म स्थल पर ताला जड़कर नोटिस चस्पा कर दिया है.
जिला प्रशासन के मुताबिक कोरोना वायरस के चलते कोई भी कहीं भी पब्लिक मीटिंग या किसी तरीके का कोई कार्यक्र म नहीं कर सकता है. लिहाजा, बड़ी संख्या में भीम आर्मी के समर्थक और कार्यकर्ताओं की पुलिस अधिकारियों से नोकझोंक हुई.