बढ़ेगी नौसेना की ताकत, 17 अगस्त को कोलकाता में पोत ‘विन्ध्यागिरी’ का अनावरण करेंगी राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू
By भाषा | Published: August 13, 2023 09:26 PM2023-08-13T21:26:09+5:302023-08-13T21:28:08+5:30
‘विन्ध्यागिरी’ पोत का नाम कर्नाटक में पर्वत श्रृंखला के नाम पर रखा गया है और यह प्रोजेक्ट 17ए फ्रिगेट का छठा पोत है।नौसेना ने कहा कि राष्ट्रपति 17 अगस्त, 23 को कोलकाता स्थित गार्डन रीच शिपबिल्डर्स एंड इंजीनियर्स लिमिटेड (जीआरएसई) में पोत का अनावरण करेंगी।
नई दिल्ली: भारतीय नौसेना की ताकत में जल्द ही और ज्यादा इजाफा होने वाला है। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू 17 अगस्त को कोलकाता में पोत ‘विन्ध्यागिरी’ का अनावरण करेंगी। भारतीय नौसेना ने रविवार को यह जानकारी दी। ‘विन्ध्यागिरी’ पोत का नाम कर्नाटक में पर्वत श्रृंखला के नाम पर रखा गया है और यह प्रोजेक्ट 17ए फ्रिगेट का छठा पोत है।
#Vindhyagiri, the sixth Project 17A Frigate, will be launched by the Hon’ble #PresidentofIndia Smt Droupadi Murmu, at Garden Reach Shipbuilders and Engineers Limited, Kolkata on #17Aug 23.#AatmaNirbharBharat@rashtrapatibhvn@OfficialGRSE
— SpokespersonNavy (@indiannavy) August 13, 2023
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नौसेना ने कहा कि राष्ट्रपति 17 अगस्त, 23 को कोलकाता स्थित गार्डन रीच शिपबिल्डर्स एंड इंजीनियर्स लिमिटेड (जीआरएसई) में पोत का अनावरण करेंगी। नौसेना के एक बयान में कहा गया कि पूर्ववर्ती विन्ध्यागिरी ने 31 साल की सेवा के दौरान कई चुनौतीपूर्ण अभियान और बहुराष्ट्रीय अभ्यासों में भाग लिया था। यह नया पोत तकनीकी रूप से उन्नत है।
बयान में कहा गया, ‘नव-निर्मित विन्ध्यागिरी भारत के अपने समृद्ध नौसेना इतिहास को अंगीकार करने के दृढ़ संकल्प का प्रतीक होने के साथ-साथ भविष्य में स्वदेशी रक्षा क्षमता को प्रेरित करने को भी दर्शाता है।’ प्रोजेक्ट 17ए कार्यक्रम के अंतर्गत माझगांव डॉक लिमिटेड (एमडीएल) द्वारा कुल चार पोत और जीआरएसई द्वारा तीन पोत निर्माणाधीन हैं।
परियोजना के पहले पांच पोतों का एमडीएल और जीआरएसई द्वारा 2019-2022 के बीच अनावरण किया गया। नौसेना ने कहा, ‘प्रोजेक्ट 17ए पोत को भारतीय नौसेना के युद्धपोत डिजाइन ब्यूरो ने देश में ही डिजाइन किया है, जो सभी युद्धपोत डिजाइन गतिविधियों के लिए अग्रणी संगठन है।’
बयान में कहा गया, ‘प्रोजेक्ट 17ए पोतों के उपकरणों और प्रणालियों के लिए 75 प्रतिशत ऑर्डर स्वदेशी कंपनियों से पूर्ण किए गए हैं, जिनमें सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम (एमएसएमई) भी शामिल हैं।’
बता दें कि समंदर में चीन से मिल रही चुनौतियों को देखते हुए नौसेना लगातार अपनी ताकत बढ़ाने में जुटी हुई है। भारत सरकार ने नौसेना को और मजबूत करने और उन्नत लड़ाकू विमानों से लैस करने के लिए राफेल लड़ाकू विमानों के चयन की घोषणा की है। इस घोषणा के साथ ही अब भारतीय नेवी के साथ राफेल के 26 विमान भी शामिल हों जाएंगे। ये विमान आईएनएस विक्रांत विमान वाहक पोत पर तैनात किए जाएंगे।