लखनऊः कांग्रेस बागी विधायक अदिति सिंह ने कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी पर हमला किया है। सिंह ने कहा कि कृषि कानून पर कांग्रेस महासचिव राजनीति कर रही हैं। यूपी चुनाव 2022 में होने वाला है और उनके पास मुद्दा ही नहीं है।
अदिति सिंह ने कहा कि विधेयक लाए जाने पर प्रियंका गांधी को समस्या हुई थी। उसे एक समस्या है, जब कानून (कृषि कानून) निरस्त कर दिए गए हैं। वह क्या चाहती हैं? उसे स्पष्ट रूप से कहना चाहिए। वह सिर्फ मामले का राजनीतिकरण कर रही हैं। अब उनके पास राजनीतिकरण के लिए मुद्दे नहीं हैं।
जहां तक लखीमपुर और अन्य मुद्दों की बात है तो प्रियंका गांधी ने हमेशा इसका राजनीतिकरण किया। लखीमपुर घटना की सीबीआई जांच चल रही है, सुप्रीम कोर्ट इस पर संज्ञान ले रहा है, अगर वह संस्थानों पर भरोसा नहीं करती है, तो मुझे समझ में नहीं आता कि वह किस पर भरोसा करती है?
कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को शनिवार को पत्र लिखकर मांग की कि वह लखीमपुर की घटना के मामले में पीड़ितों को न्याय दिलाएं और केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा को बर्खास्त करें। प्रियंका ने मांग की कि देश भर में किसानों के खिलाफ दर्ज हुए मुकदमों को वापस लिया जाए और सभी ‘‘शहीद’’ किसानों के परिवारों को आर्थिक अनुदान दिया जाए।
कांग्रेस महासचिव ने शनिवार को पत्रकारों से कहा, ‘‘प्रधानमंत्री जी लखनऊ आये हैं। वह पुलिस के आला अधिकारियों के सम्मेलन में भाग लेंगे। मैंने उन्हें पत्र लिखा है। मैं आपके माध्यम से उस पत्र को देश और प्रदेश के सामने रखना चाहती हूं ।’’ उन्होंने पत्र पढ़कर मीडिया को सुनाया। पुलिस महानिदेशकों के सम्मेलन में हिस्सा लेने प्रधानमंत्री लखनऊ आए हैं जिसमें केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह भी हिस्सा ले रहे हैं।
बाद में उत्तर प्रदेश कांग्रेस ने ट्वीट कर कहा, ‘‘दूरबीन लेकर अपराधी और गुंडे खोजने वाले गृहमंत्री, किसानों को कुचलने वाले अपराधी के पिता और गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा टेनी के साथ मंच साझा कर रहे हैं। टेनी ने खुद किसानों को धमकाया था, जिसके बाद किसानों को कुचला गया। कैसे होगा किसानों के साथ न्याय?’’ कांग्रेस ने एक तस्वीर भी इसके साथ साझा की जिसमें अमित शाह और अजय मिश्रा अन्य अधिकारियों के साथ बैठे नजर आ रहे हैं।
प्रियंका ने प्रधानमंत्री को संबोधित पत्र में लिखा, ‘‘लखीमपुर किसान नरसंहार में अन्नदाताओं के साथ हुई क्रूरता को पूरे देश ने देखा। आपको यह जानकारी भी है कि किसानों को अपनी गाड़ी से कुचलने का मुख्य आरोपी आपकी सरकार के केंद्रीय गृह राज्य मंत्री का बेटा है। उत्तर प्रदेश सरकार ने राजनीतिक दबाव के चलते इस मामले में शुरुआत से ही न्याय की आवाज को दबाने की कोशिश की।’’