नई दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली के जहांगीरपुरी में आज अतिक्रमण विरोधी कार्रवाई पर रोक लगा दी है। कोर्ट ने बुधवार को मामले में यथा स्थिति बहाल रखने को कहा। साथ ही कहा कि इस मामले पर सुनवाई गुरुवार को की जाएगी। कोर्ट का आदेश आने के बाद उत्तरी दिल्ली नगर निगम के मेयर राजा इकाबल सिंह ने पत्रकारों से कहा कि इसका पालन किया जाएगा।
बता दें कि सुप्रीम कोर्ट में अतिक्रमण विरोधी कार्रवाई संबंधी दो याचिकाएं दाखिल की गई हैं। इसमें एक याचिका उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, गुजरात समेत देश के अन्य हिस्सों में बुलडोजर की कार्रवाई के खिलाफ है। वहीं, दूसरी याचिका दिल्ली के जहांगीरपुरी में एमसीडी की कार्रवाई से जुड़ी है।
9 बुलडोजर के साथ एमसीडी ने जहांगीरपुरी में शुरू की थी कार्रवाई
आज सुबह एमसीडी के 9 बुलडोजर दिल्ली के जहांगीरपुर इलाके में अतिक्रमण विरोधी कार्रवाई के लिए पहुंचे। यहां दो दिनों तक एमसीडी की ओर से कार्रवाई की जानी थी। जहांगीरपुरी पिछले शनिवार से चर्चा में है जब हनुमान जयंती के दिन एक शोभायात्रा के दौरान इलाके में सांप्रदायिक हिंसा भड़क गई थी। एक मस्जिद के सामने से शोभायात्रा के निकलने के दौरान हिंसा फैली थी।
इसके बाद से ही इलाके में तनाव है। दिल्ली पुलिस और अर्धसैनिक बल भारी मात्रा में यहां तैनात हैं। इलाके में सोमवार को दिल्ली पुलिस पर भी पथराव की खबरें आई थी जब पुलिसकर्मी एक आरोपी के परिवार वालों से पूछताछ के लिए पहुंचे थे।
हालांकि इन सबके बीच बुधवार को उत्तरी दिल्ली नगर निगम की ओर से अतिक्रमण विरोधी कार्रवाई सवालों के घेरे में आ गई। इससे पहले मध्य प्रदेश और गुजरात जैसे राज्यों में हाल में रामनवमी पर हिंसा के बाद बुलडोजर के जरिए आरोपी 'दंगाईयों' के अवैध निर्माण को गिराने जैसी खबरें आई थी।
बता दें कि भाजपा की दिल्ली इकाई के प्रमुख आदेश गुप्ता ने मंगलवार को एनडीएमसी के महापौर को जहांगीरपुरी में 'दंगाइयों' के अवैध निर्माण की पहचान करने और बुलडोजर का उपयोग करके उन्हें ध्वस्त करने के लिए एक पत्र लिखा था। इसके बाद खबरें आई कि एमसीडी की ओर से भी डीसीपी (उत्तर-पश्चिम) को पत्र लिखकर अतिक्रमण विरोधी कार्रवाई के लिए सुरक्षा की मांग की गई है।