क्या 2000 रुपये के नोट बदलने के लिए आईडी कार्ड दिखाना होगा जरूरी? सुप्रीम कोर्ट ने दिया जवाब
By अंजली चौहान | Published: July 10, 2023 04:53 PM2023-07-10T16:53:57+5:302023-07-10T16:56:06+5:30
सुप्रीम कोर्ट ने बिना पहचान पत्र दिखाए दो हजार के नोट बदलने के खिलाफ याचिका खारिज कर दी है।
नई दिल्ली: भारतीय रिजर्व बैंक द्वारा जब से 2000 हजार के नोटों को वापस लेने का फैसला किया गया है तब आम जनता बैंकों में इन नोटों को जमा करा रही है।
हालांकि, दो हजार के नोट बदलने की प्रक्रिया में बिना पहचान पत्र दिखाए नोट बदलने के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की गई है। इस याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को सुनवाई करते हुए याचिका को खारिज कर दिया। याचिकाकर्ता वकील अश्विनी उपाध्याय का कहना है कि बिना पहचान पत्र देखे नोट बदलने से भ्रष्ट और देश विरोधी तत्वों को फायदा हो रहा है।
वहीं, कोर्ट में चीफ जस्टिस ने याचिका खारिज करते हुए कहा कि रिजर्व बैंक का फैसला एक नीतिगत मामला है। हम इसमें दखल नहीं देंगे। इससे पहले 29 मई को दिल्ली हाईकोर्ट ने भी इसे नीतिगत बताते हुए याचिका को ठुकरा दिया था।
याचिका में रखी गई थी ये मांग
वकील अश्विनी उपाध्याय की इस याचिका में कहा गया कि तीन लाख करोड़ रुपये से ज्यादा की रकम के 2000 हजार के नोट भ्रष्टाचारियों, देश विरोधी शक्तियों और माफियाओं के पास होने की आशंका है। ऐसे में बिना पहचान पत्र देखे बिना नोट बदलने से ऐसे तत्वों को फायदो हो रहा है।
याचिकाकर्ता वकील ने कहा है कि भारत में आज ऐसा कोई परिवार नहीं है जिसके पास बैंक अकाउंट न हो। ऐसे में दो हजार रुपये के नोट सीधे बैंक खातों में जमा होने चाहिए। याचिका में यह भी कहा गया है कि यह भी देखना चाहिए कि व्यक्ति केवल अपने अकाउंट में पैसा जमा कर रहा हो किसी और के अकाउंट में नहीं।
बता दें कि इससे पहले रिजर्व बैंक भी इस याचिका का विरोध कर चुका है। दिल्ली हाईकोर्ट में बहस के दौरान रिजर्व बैंक की ओर से पेश वरिष्ठ वकील पराग त्रिपाठी ने कहा था कि वित्तीय और मौद्रिक नीति में कोर्ट दखल नहीं दे सकता। नोटों को जारी करना और उसे वापस लेना रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया का काम है।