सांगलीः मनसे प्रमुख राज ठाकरे के खिलाफ 14 साल पुराने मामले में गैर-जमानती वारंट जारी, 2008 में कथित तौर पर भड़काऊ भाषण देने का आरोप

By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Published: May 3, 2022 03:42 PM2022-05-03T15:42:57+5:302022-05-03T15:44:32+5:30

छह अप्रैल को गैर-जमानती वारंट जारी करते हुए सांगली जिले के शिराला में न्यायिक मजिस्ट्रेट (प्रथम श्रेणी) ने मुंबई पुलिस आयुक्त को मनसे प्रमुख राज ठाकरे को गिरफ्तार कर अदालत के सामने पेश करने का निर्देश दिया।

Sangli MNS chief Raj Thackeray Non-bailable warrant issued 14-year-old case allegedly giving provocative speeches in 2008 | सांगलीः मनसे प्रमुख राज ठाकरे के खिलाफ 14 साल पुराने मामले में गैर-जमानती वारंट जारी, 2008 में कथित तौर पर भड़काऊ भाषण देने का आरोप

राज ठाकरे ने मस्जिदों के ऊपर लगे लाउडस्पीकर का मुद्दा उठाया है। 

Highlightsमामले की सुनवाई के दौरान अदालत में पेश होने में नाकाम रहे थे।राज ठाकरे की गिरफ्तारी के खिलाफ शिराला में विरोध-प्रदर्शन किया था।2012 से पहले के राजनीतिक मामलों को वापस ले लिया जाना चाहिए।

सांगलीः पश्चिमी महाराष्ट्र के सांगली जिले की एक अदालत ने 14 साल पुराने एक मामले में महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) के प्रमुख राज ठाकरे के खिलाफ गैर-जमानती वारंट जारी किया है। 2008 में कथित तौर पर भड़काऊ भाषण देने के लिए राज ठाकरे के खिलाफ भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 109 और 117 (अपराध के लिए उकसाना) के तहत मामला दर्ज किया गया था।

छह अप्रैल को गैर-जमानती वारंट जारी करते हुए सांगली जिले के शिराला में न्यायिक मजिस्ट्रेट (प्रथम श्रेणी) ने मुंबई पुलिस आयुक्त को मनसे प्रमुख को गिरफ्तार कर अदालत के सामने पेश करने का निर्देश दिया। सहायक लोक अभियोजक ज्योति पाटिल ने बताया कि न्यायाधीश ने राज ठाकरे और एक अन्य मनसे नेता शिरीष पारकर के खिलाफ क्रमशः मुंबई पुलिस आयुक्त व खेरवाड़ी पुलिस थाने के माध्यम से वारंट जारी किया, क्योंकि वे मामले की सुनवाई के दौरान अदालत में पेश होने में नाकाम रहे थे।

पाटिल के मुताबिक, अदालत ने पुलिस को आठ जून से पहले वारंट की तामील करने और दोनों नेताओं को उसके सामने पेश करने का निर्देश दिया है। 2008 में मनसे कार्यकर्ताओं ने स्थानीय युवाओं को नौकरियों में प्राथमिकता देने की मांग को लेकर हुए एक आंदोलन के सिलसिले में राज ठाकरे की गिरफ्तारी के खिलाफ शिराला में विरोध-प्रदर्शन किया था।

मनसे के एक स्थानीय पदाधिकारी ने दावा किया कि सरकारी नियम के तहत 2012 से पहले के राजनीतिक मामलों को वापस ले लिया जाना चाहिए। हालांकि, उन्होंने आरोप लगाया कि इस मामले को तूल दिया जा रहा है, क्योंकि राज ठाकरे ने मस्जिदों के ऊपर लगे लाउडस्पीकर का मुद्दा उठाया है। 

Web Title: Sangli MNS chief Raj Thackeray Non-bailable warrant issued 14-year-old case allegedly giving provocative speeches in 2008

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