कानून हाथ में लेने की छूट किसी को नहीं, लेकिन दबाव में कोई कार्रवाई नहीं होगी : योगी

By भाषा | Updated: October 8, 2021 19:02 IST2021-10-08T19:02:01+5:302021-10-08T19:02:01+5:30

No one is allowed to take law in their hands, but no action will be taken under pressure: Yogi | कानून हाथ में लेने की छूट किसी को नहीं, लेकिन दबाव में कोई कार्रवाई नहीं होगी : योगी

कानून हाथ में लेने की छूट किसी को नहीं, लेकिन दबाव में कोई कार्रवाई नहीं होगी : योगी

लखनऊ/गोरखपुर, आठ अक्टूबर उत्तर प्रदेश के लखीमपुर की घटना के आरोपी तथा केंद्रीय गृह राज्य मंत्री के बेटे की गिरफ्तारी की विपक्ष की मांग पर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शुक्रवार को कहा कि कानून हाथ में लेने की छूट किसी को नहीं होगी, लेकिन किसी के दबाव में कोई कार्रवाई नहीं होगी।

गोरखपुर में शुक्रवार को एक टीवी चैनल के कार्यक्रम में योगी ने कहा, ‘‘लखीमपुर खीरी की घटना दुखद और दुर्भाग्यपूर्ण हैं, सरकार उसकी तह तक जा रही है। लोकतंत्र में हिंसा के लिये कोई स्थान नहीं है ,जब कानून सभी को सुरक्षा प्रदान करने की गारंटी दे रहा है तो किसी को भी अपने हाथ में कानून लेने का अधिकार नहीं है, चाहे वह कोई भी हो।’’

लखीमपुर में विपक्षी दलों के नेताओं को पीड़ित परिवारों से मिलने न दिये जाने पर उन्होंने कहा,'' हमारे विपक्ष के जो मित्रगण थे, कोई सद्भावना के दूत नहीं थे और उनमें से कई चेहरे तो ऐसे हैं जो इस उपद्रव और इस हिंसा के पीछे भी शामिल हैं। एक बार तथ्‍य सामने आने दीजिए, हम दूध का दूध और पानी का पानी, सबके सामने रखेंगे।''

कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी वाद्रा के सीतापुर पीएसी के गेस्ट हाउस में पुलिस हिरासत में लिये जाने के बाद झाड़ू लगाये जाने पर मुख्यमंत्री ने कहा, "जनता उन्हें इसी लायक (झाड़ू लगाने लायक) बनाना चाहती है।"

खीरी यात्रा के मुद्दे पर विपक्ष पर तीखा हमला बोलते हुए योगी ने कहा कि कांग्रेस पार्टी ने कोरोना काल में एक हजार बसों के नाम पर ट्रक और स्कूटर के नंबर दे दिए थे और मैं उनसे पूछना चाहता हूं कि जब पहली और दूसरी लहर में उनकी जरूरत थी तो वे लोग कहां थे, उस समय केवल भाजपा कार्यकर्ता और सरकार ही जनता के साथ खड़ी थी।

योगी ने आरोप लगाया, ‘‘विपक्षी नेता हिंदुओं और सिखों के बीच दरार पैदा करना चाहते थे, इसलिए मैं कहता हूं कि आंखें खोलो और उनका असली चेहरा देखो।’’ उन्होंने कहा, ‘‘छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री और पंजाब के मुख्‍यमंत्री अपना राज्‍य संभाल नहीं पा रहे हैं लेकिन यहां राजनीति करने के लिए आ रहे हैं। उन्‍हें लखीमपुर के बारे में कोई जानकारी नहीं है लेकिन चाकरी करनी है तो पीछे पीछे चले आए। पंजाब के मुख्यमंत्री अभी यह तय नहीं कर पा रहे हैं कि डीजीपी कौन होगा, कौन मुख्यमंत्री होगा, इस बात के लिए तरस रहे हैं, इससे बड़ा शर्मनाक क्‍या होगा। वे अपने आंतरिक झगड़ों में उलझे हैं।’’

गृह राज्यमंत्री अजय मिश्र के पुत्र को बचाने की कोशिश के सवाल पर उन्होंने कहा, ‘‘कोई वीडियो इस प्रकार का नहीं है, हमने नंबर भी जारी किया है कि अगर किसी के पास कोई साक्ष्य है तो इस पर अपलोड करें। अन्‍याय किसी के साथ नहीं होगा। कानून को हाथ में लेने की छूट किसी को नहीं होगी, लेकिन किसी के दबाव में भी कोई कार्रवाई नहीं होगी।’’

उन्होंने कहा, ‘‘माननीय उच्चतम न्यायालय ने व्यवस्था दी है कि गिरफ्तारी से पहले आपके पास पर्याप्त साक्ष्य भी होने चाहिए। हम किसी व्यक्ति के आरोप पर अनावश्यक किसी को गिरफ्तार भी नहीं करेंगे, लेकिन हां अगर कोई दोषी है तो उसको छोड़ेंगे भी नहीं, चाहे कोई भी व्यक्ति क्यों न हो।’’

मुख्यमंत्री ने कहा, ‘‘हमने पूरे उत्तर प्रदेश में यहीं किया है, जिनके खिलाफ भी साक्ष्य मिले हैं, हमने उनके खिलाफ कार्रवाई करने में कोई गुरेज नही किया है। लखीमपुर खीरी की घटना में भी सरकार यही कर रही है।’’

सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने आरोप लगाया था कि मुख्‍यमंत्री केवल फीता काटते हैं, एमओयू पर साइन करते हैं लेकिन निवेश एक रुपये भी उत्तर प्रदेश में नहीं आया। इसके जवाब में योगी ने कहा, "अखिलेश जी के पास इन बातों को जानने का समय नहीं है क्योंकि वह एक अमीर आदमी के बेटे हैं (बड़े आदमी के बेटे हैं) वह दोपहर 12 बजे सोकर उठते हैं और दो बजे तक तैयार होकर चार बजे अपने दोस्तों से मिलते हैं, जब लोगों को उनकी जरूरत थी तो वह ऑस्ट्रेलिया और लंदन का दौरा कर रहे थे। ऑस्ट्रेलिया में द्वीप खरीदे होंगे, वहां आराम की जिंदगी जिएं, उन्‍हें कौन रोक रहा है।’’

आगे उन्होंने कहा, ‘‘भगवान करे वह ऑस्ट्रेलिया के द्वीप में घूमे, यूरोप में जाकर अपनी छुट्टियां मनाएं।’’

गौरतलब है कि पिछले रविवार (तीन अक्टूबर) को लखीमपुर खीरी जिले के तिकोनिया क्षेत्र में हुई हिंसा में चार किसानों समेत आठ लोगों की मौत हो गई थी। आरोप है कि इन किसानों को वाहन से टक्कर मारी गयी थी।

इस मामले में दर्ज प्राथमिकी में केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा के पुत्र आशीष का नाम भी है। उन्हें शुक्रवार को पुलिस के सामने पेश होने को कहा गया था लेकिन अभी तक वह पेश नहीं हुए हैं।

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