Mansa Devi Stampede: सावन का महीना, मंदिर में भक्तों की भीड़..., कैसे मची मनसा देवी मंदिर में भगदड़? छिन गई 8 लोगों की जिंदगी

By अंजली चौहान | Updated: July 27, 2025 13:14 IST2025-07-27T13:11:03+5:302025-07-27T13:14:13+5:30

Mansa Devi Stampede: हरिद्वार के जिला मजिस्ट्रेट ने प्रत्यक्षदर्शियों के हवाले से बताया कि किसी व्यक्ति द्वारा कथित तौर पर बिजली के तार के बारे में चिल्लाने के बाद वहां भगदड़ मच गई, जिससे श्रद्धालुओं में अफरा-तफरी मच गई।

Mansa Devi Stampede how did the stampede happen in Mansa Devi temple 8 people lost their lives | Mansa Devi Stampede: सावन का महीना, मंदिर में भक्तों की भीड़..., कैसे मची मनसा देवी मंदिर में भगदड़? छिन गई 8 लोगों की जिंदगी

Mansa Devi Stampede: सावन का महीना, मंदिर में भक्तों की भीड़..., कैसे मची मनसा देवी मंदिर में भगदड़? छिन गई 8 लोगों की जिंदगी

Mansa Devi Stampede: हरिद्वार के प्रसिद्ध मनसा देवी मंदिर में रविवार को भगदड़ मचने के बाद छह लोगों की मौत हो गई। मंदिर के पैदल मार्ग पर सुबह के समय दर्शन के लिए जा रहे श्रद्धालुओं के बीच अचानक भगदड़ की वजह से एक के बाद एक लोग घायल होते गए। हरिद्वार के जिला मजिस्ट्रेट मयूर दीक्षित ने मौतों की पुष्टि करते हुए कहा, "दो व्यक्तियों की हालत गंभीर है और उन्हें उच्च चिकित्सा केंद्रों में रेफर कर दिया गया है। बाकी का इलाज जिला अस्पताल में चल रहा है।"

अधिकारियों के अनुसार, घायलों में 20 पुरुष, 8 महिलाएं और 7 बच्चे शामिल हैं - जिनमें 2 लड़के और 5 लड़कियां हैं।

कैसे मची भगदड़?

यह घटना सुबह लगभग 8.30 बजे हुई जब एक ओवरहेड बिजली का तार कथित तौर पर टूटकर पैदल मार्ग के भीड़भाड़ वाले हिस्से पर गिर गया, जिससे तीर्थयात्रियों में दहशत फैल गई। हालांकि, अब अधिकारियों का कहना है कि भगदड़ वास्तविक बिजली लाइन की खराबी के बजाय अफवाह के कारण हुई हो सकती है। प्रथम दृष्टया ऐसा लगता है कि घटना बिजली की लाइन टूटने की अफवाह के कारण हुई।

एक अधिकारी ने कहा, "सटीक कारण का पता लगाने के लिए विस्तृत जाँच चल रही है।" 

अस्पताल के अधिकारियों ने बताया कि एक व्यक्ति बिजली का झटका लगने से झुलस गया, जबकि अन्य की मौत भगदड़ के दौरान लगी चोटों से हुई। सिटी पुलिस स्टेशन प्रभारी रितेश साहा ने बताया कि जिस समय बिजली का तार टूटा, उस समय मार्ग पर भीड़भाड़ थी।

साहा ने कहा, "तार गिरते देख तुरंत अफरा-तफरी मच गई और भागने की होड़ मच गई, जिससे भगदड़ मच गई।" आपातकालीन सेवाओं और पुलिस टीमों ने तुरंत कार्रवाई की। राहत और बचाव कार्य जारी है और अधिकारी मृतकों की पहचान करने में जुटे हैं। शवों को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया है।

त्तराखंड पावर कॉर्पोरेशन लिमिटेड (यूपीसीएल) घटना के बाद, राज्य विद्युत वितरण कंपनी- उत्तराखंड पावर कॉर्पोरेशन लिमिटेड (यूपीसीएल) ने मनसा देवी में सभी विद्युत पैनलों और बिजली लाइनों का निरीक्षण किया और फिर एक स्पष्टीकरण जारी किया जिसमें दावा किया गया कि 'उनकी किसी भी संपत्ति में बिजली का रिसाव नहीं हुआ' जिससे यह घटना हो सकती थी।

यूपीसीएल के प्रबंध निदेशक अनिल कुमार ने कहा, "मनसा देवी मंदिर परिसर में हमारे कर्मियों द्वारा किए गए निरीक्षण के दौरान, बिजली का रिसाव शून्य पाया गया।" इसके अलावा, वहां बिजली ले जाने वाली लो टेंशन लाइनें पूरी तरह से इंसुलेटेड हैं और कोई भी नंगे कंडक्टर इस्तेमाल में नहीं हैं।” उन्होंने कहा, “हमें किसी को बिजली का झटका लगने या करंट लगने की कोई घटना नहीं मिली। दुखद घटना संभवतः भारी और अनियंत्रित भीड़ के कारण हुई।”

CM धामी ने जताया दुख

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने त्रासदी पर गहरा दुख व्यक्त किया - हर संभव सहायता का आश्वासन दिया। सीएम ने कहा, “हरिद्वार के मनसा देवी मंदिर में भगदड़ की खबर बेहद दुखद है। एसडीआरएफ, स्थानीय पुलिस और अन्य बचाव दल मौके पर हैं और राहत और बचाव कार्य में लगे हुए हैं।" धामी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर पोस्ट किया। उन्होंने कहा, “मैं स्थानीय प्रशासन के लगातार संपर्क में हूं और स्थिति पर बारीकी से नजर रख रहा हूं। मैं माता रानी से सभी भक्तों की कुशलता की प्रार्थना करता हूं।”

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