जिस छात्र की कलाकृति को 'अश्लील' बताकर महाराजा सयाजीराव यूनिवर्सिटी ने निकाला, बीएचयू ने उसे टॉप करने पर दिया गोल्ड मेडल

By आशीष कुमार पाण्डेय | Updated: December 18, 2022 19:36 IST2022-12-18T19:28:15+5:302022-12-18T19:36:32+5:30

गुजरात के बड़ोदरा स्थित महाराजा सयाजीराव यूनिवर्सिटी ऑफ़ बड़ोदा के ललित कला विभाग ने एमएफए में दाखिला लेने वाले कुंदन कुमार महतो को अश्लील कलाकृति के विवाद में निकाल दिया था, उसने बीएचयू के फाइन आर्ट्स डिपार्टमेंट में टॉप करते हुए गोल्ड मेडल हासिल किया है।

Maharaja Sayajirao University expelled the student whose artwork was considered obscene, BHU gave him a gold medal for topping | जिस छात्र की कलाकृति को 'अश्लील' बताकर महाराजा सयाजीराव यूनिवर्सिटी ने निकाला, बीएचयू ने उसे टॉप करने पर दिया गोल्ड मेडल

ट्विटर से साभार

Highlightsछात्र को एक यूनिवर्सिटी ने अश्लीलता फैलाने का हवाला देते हुए निकाला, दूसरे ने दिया गोल्ड मेडलअश्लील कलाकृति के आरोप में महाराजा सयाजीराव यूनिवर्सिटी ने छात्र कुंदन को किया था निष्कासितबीएचयू के फाइन आर्ट्स डिपार्टमेंट ने उसी कुंदन कुमार को टॉप करने पर दिया है गोल्ड मेडल

वाराणसी:बनारस हिंदू विश्वविद्यालय के दृश्य एवं कला संकाय ने मूर्तिकला विषय में टॉप करने वाले कुंदन कुमार महतो को गोल्ड मेडल दिया है। ये वहीं कुंदन कुमार हैं, जिन्हें गुजरात के बड़ोदरा स्थित महाराजा सयाजीराव यूनिवर्सिटी ऑफ़ बड़ोदा (एमएसयू) में पढ़ने से इस कारण प्रतिबंधित कर दिया गया था क्योंकि उन्होंने अखबार की कतरन से कथिततौर पर हिंदू देवियों की नग्न और अश्लील कलाकृति बनाई थी।

उस आरोप में बड़ोदरा स्थित महाराजा सयाजीराव यूनिवर्सिटी ऑफ़ बड़ोदा के ललित कला विभाग ने छात्र कुंदन कुमार महतो को पिछले साल प्रतिबंधित कर दिया था। बीते साल मई महीने में महाराजा सयाजीराव यूनिवर्सिटी ऑफ़ बड़ोदा कैंपस में कुंदन की कलाकृति को लेकर भारी बवाल भी हुआ था। वहीं अब खबर आ रहा है कि बनारस हिंदू यूनिवर्सिटी की ओर से उसी विवादित कुंदन कुमार को मूर्तिकला में बेहतर प्रदर्शन के लिए स्वर्ण पदक दिया गया है।

बीएचयू के दृश्य एवं कला संकाय ने बीते 12 दिसंबर को छात्र कुंदन कुमार महतो को यूनिवर्सिटी के 102वें दीक्षांत समारोह में यह गोल्ड मेडल दिया। इससे पहले महाराजा सयाजीराव यूनिवर्सिटी ऑफ़ बड़ोदा ने महतो को महिलाओं पर यौन हमले पर अखबारों में छपे लेखों की कतरनों से हिंदू देवियों कलाकृति बनाने के आरोप में यूनिवर्सिटी से बाहर कर दिया था, जिसके खिलाफ छात्र महतो ने अक्टूबर में गुजरात हाईकोर्ट का रूख किया था और कुंदन महतो द्वारा दायर की गई याचिका पर हाईकोर्ट ने एमएसयू को नोटिस भी जारी किया था।

बीएचयू से गोल्ड मेडल मिलने के बाद छात्र कुंदन कुमार महतो ने कहा, "मैंने 2017 से 2021 तक बीएचयू के फैकल्टी ऑफ विजुअल आर्ट्स में मूर्तिकला विभाग में बीएफए की पढ़ाई की। यह कितनी बड़ी विडंबना है हमारे शिक्षा संस्थानों की कि एक यूनिवर्सिटी मुझे मेधावी मानते हुए गोल्ड मेडल देती है और वहीं दूसरी यूनिवर्सिटी ने मुझे इसी कला के लिए कारण प्रतिबंधित कर दिया था।”

इसके साथ ही महतो ने कहा, “बीएचयू ने मुझे यह गोल्ड मेडल इस कारण दिया है कि क्योंकि मैंने मूर्तिकला विभाग में चार साल के बीएफए पाठ्यक्रम में टॉप किया था लेकिन जैसे ही मैं एमएफए की शिक्षा के लिए एमएसयू में गया, वहां मुझे निकाल दिया गया।”

बीएचयू से बीएफए की पढ़ाई के बाद जब कुंदन महतो एमएसयू में दाखिला लिया तो वहां उनकी कलाकृति को काफी विवाद हुआ और यूनिवर्सिटी की जांच समिति की रिपोर्ट के आधार पर उन्हें वहां से निकाल दिया गया था। महतो का आरोप है कि उन्हें कथिततौर पर दक्षिणपंथी छात्रसंगठनों के इशारे पर एमएसयू से बाहर किया गया।

महतो ने एमएसयू के बीते साल की घटना को याद करते हुए कहा, “बीएचयू से मिला गोल्ड मेडल इस बात का प्रमाण है कि मैंने ईमानदारी से अपनी पढ़ाई की है। मुझे खुशी है कि बीएचयू में मेरे शिक्षकों ने मूर्तिकला में मुझे इस तरह ढाला है कि मैं एक कलाकार के रूप में अपना बेहतर भविष्य बना सकता हूं। उन्होंने मुझे गोल्ड मेडल दिया है लेकिन बड़ौदा के एमएसयू में मेरे साथ जो हुआ, वह बहुत ही भयानक था।”

Web Title: Maharaja Sayajirao University expelled the student whose artwork was considered obscene, BHU gave him a gold medal for topping

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