Maha Kumbh 2025 Breaks Record: महाकुंभ 2025 ने इतिहास में सबसे बड़े धार्मिक आयोजनों में से एक नया रिकॉर्ड बनाया है। 14 फरवरी तक 50 करोड़ से अधिक श्रद्धालु संगम में डुबकी लगा चुके हैं। यूपी सरकार ने करीब 45 करोड़ श्रद्धालुओं के शामिल होने का अनुमान लगाया था, लेकिन महाकुंभ के समापन से 13 दिन से अधिक दूर से पहले 50 करोड़ का आंकड़ा पार कर लिया। 13 जनवरी को शुरू हुआ भव्य आध्यात्मिक आयोजन दुनिया भर से तीर्थयात्रियों को आकर्षित कर रहा है। समापन 26 फरवरी को महाशिवरात्रि के दिन होगा। एक महीने की अवधि में 'महाकुम्भ-2025 प्रयागराज' में 50 करोड़ श्रद्धालु देश-दुनिया से आकर मां गंगा, मां यमुना, मां सरस्वती की पावन त्रिवेणी में आस्था की डुबकी लगाकर 'एक भारत, श्रेष्ठ भारत' का संदेश लेकर गए हैं।
महाकुंभ में सबसे ज्यादा युवा पीढ़ी स्नान करने आ रही है, जो सनातन की गहरी जड़ों और उज्ज्वल भविष्य का द्योतक है। गंगा और संगम में डुबकी लगाकर रिकॉर्ड बना रहे हैं। युग-युगांतर से पीढ़ियों को ऐसे क्षण का इंतजार रहता है, यह अनोखा समय है, जब दुनिया भर से लोग स्वतः आकर त्रिवेणी संगम में डुबकी लगा रहे हैं। महाकुंभ 2025 में 14 फरवरी तक 50 करोड़ से अधिक श्रद्धालुओं की अभूतपूर्व उपस्थिति के साथ इतिहास में अपना नाम दर्ज करा लिया है।
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (एसएसपी) कुंभ राजेश द्विवेदी ने कहा, ‘‘श्रद्धालुओं का आवागमन सुचारू रूप से हो रहा है और हम भीड़ वाली सभी जगहों पर सतर्कता बरत रहे हैं। हमने इस बार सभी व्यवस्थाएं और मजबूत की हैं।’’ उत्तर प्रदेश सरकार ने श्रद्धालुओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए ‘ऑपरेशन चतुर्भुज’ भी शुरू किया है जिसके तहत 2,750 हाईटेक कैमरों, ड्रोन और एंटी ड्रोन से मेले की निगरानी कर रहे ‘इंटीग्रेटेड कमांड एंड कंट्रोल सेंटर’ द्वारा सुरक्षा बढ़ा दी गई है। प्रशासन ने 11 फरवरी की शाम पांच बजे से पूरे प्रयागराज शहर को भी ‘नो व्हीकल जोन’ घोषित किया है।
अधिकारियों ने कहा कि प्रदेश के परिवहन विभाग ने अतिरिक्त 1200 शटल बसें मेले के लिए लगाई हैं जो हर 10 मिनट में श्रद्धालुओं के लिए उपलब्ध रहेंगी। महाकुंभ मेला 26 फरवरी को महाशिवरात्रि के स्नान के साथ संपन्न होगा। 29 जनवरी को मौनी अमावस्या पर हुई भगदड़ में 30 लोगों की मौत हो गई थी और 60 लोग घायल हो गए थे।