कोविड-19 : नकली टीकों की बिक्री रोकने के अनुरोध वाली याचिका पर न्यायालय का सुनवाई से इनकार
By भाषा | Published: February 11, 2021 06:58 PM2021-02-11T18:58:24+5:302021-02-11T18:58:24+5:30
नयी दिल्ली, 11 फरवरी उच्चतम न्यायालय ने बृहस्पतिवार को उस याचिका पर सुनवाई करने से इनकार कर दिया, जिसमें देश में कोविड-19 के नकली टीकों की बिक्री की किसी भी संभावना को रोकने के लिए केन्द्र को ‘‘सख्त’’ दिशा-निर्देश जारी करने का निर्देश देने का अनुरोध किया गया था।
प्रधान न्यायाधीश एस. ए. बोबडे, न्यायमूर्ति ए. एस. बोपन्ना और न्यायमूर्ति वी. रामसुब्रमण्यम की एक पीठ ने कहा कि हालांकि वे जनहित याचिका दायर करने के पीछे की ‘‘मंशा’’ समझते हैं लेकिन हम ऐसे ही कोई निर्देश नहीं दे सकते।
पीठ ने याचिका दायर करने वाले वकील विशाल तिवारी से कहा, ‘‘हम आपकी मंशा समझते हैं लेकिन आप एक ठोस मामला दायर करें। हम ऐसे ही कोई निर्देश नहीं दे सकते। हम कोई विधायिका नहीं हैं।’’
तिवारी ने पीठ से कहा कि वह अर्जी को वापस लेंगे और अनुमति से एक नयी अर्जी दायर करेंगे।
पीठ ने कहा, ‘‘याचिकाकर्ता एक नई याचिका दायर करने के लिए स्वतंत्रता के साथ इस याचिका को वापस लेने की अनुमति चाहता है। मांगी गई अनुमति प्रदान की जाती है। तदनुसार, रिट याचिका को वापस लिया मानकर खारिज की जाती है और उपरोक्त स्वतंत्रता प्रदान की जाती है।’’
याचिका भारत में टीकों की शुरुआत होने से पहले दायर की गई थी और इसमें इंटरपोल के महासचिव के बयान का उल्लेख किया गया था कि आपराधिक संगठन आपूर्ति श्रृंखलाओं में घुसपैठ या उसे बाधित करने का षड्यंत्र रच रहे हैं।
याचिका में कहा गया था, ‘‘प्रतिवादी (केंद्र) को रिट....निर्देश जारी करें कि वह किसी भी कंपनी, या संगठन को नकली कोरोना टीका बेचने या प्रसारित करने से रोकने के लिए एक विशेष समिति गठित करे और इसके लिए आपदा प्रबंधन कानून के तहत या किसी अन्य कानून के तहत सख्त दिशा-निर्देश और विनियम जारी करे।
इसमें कहा गया था, ‘‘प्रतिवादी (केंद्र) को निर्देश दें कि किसी भी संगठन या व्यक्ति द्वारा नकली कोरोना टीका बेचने या प्रसारित करने के आपराधिक कृत्य के खिलाफ एक सख्त कानून बनाये।
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