श्रीनगर: जम्मू-कश्मीर में हिमस्खलन और भूस्खलन ने कहर बरपा रखा है। यहां जनता को हिमस्खलन और भूस्खलन के कारण काफी समस्या झेलनी पड़ रही है। पिछले 24 घंटों में हिमस्खलन और भूस्खलन की दो घटनाओं में दो दर्जन से अधिक घर क्षतिग्रस्त हो गए। करीब 10 दुकानों को भी नुकसान पहुंचा है। यही नहीं अभी भी तबाही का अंदेशा इसलिए बना हुआ है क्योंकि मौसम विभाग 10 जिलों में हिमस्खलन की चेतावनी दे रहा है।
कल देर शाम सोनामर्ग के रेजान गांव में प्रकृति का कहर बरपा तो 10 मकान और 10 ही दुकानें हिमस्खलन की चपेट में आ गईं। कोई जान-माल का नुकसान तो नहीं हुआ लेकिन 18 से अधिक पालतू जानवरों को जरूर खोना पड़ा है। जानकारी के अनुसार, असम राइफल्स की 34वीं यूनिट के जवानों ने मौके पर पहुंच कर राहत कार्य चलाया तो कहीं जाकर प्रभावित परिवारों को सुरक्षित स्थानों तक पहुंचाया जा सका था।
इस हिमस्खलन से पहले रामबन जिले के संगलदान के एक गांव में भूस्खलन ने अपना रंग दिखाया था। करीब 14 परिवार प्रभावित हुए क्योंकि उनके मकानों में दरारें आ गई थीं। इलाके के एसडीएम मजीद वानी ने इस हादसे की पुष्टि करते हुए दावा किया था कि जिन लोगों घरों को ताजा भूस्खलन के कारण क्षति पहुची है उन्हें सुरक्षित स्थानों तक पहुंचाया गया है।
इलाके के लोग दहशत में इसलिए हैं क्योंकि पहली बार उनके गांव में ऐसा हुआ था। इतना जरूर था कि भूस्खलन और हिमस्खलन से प्रभावित परिवार अभी भी इसलिए घबराए हुए थे क्योंकि मौसम विभाग प्रदेश के 10 जिलों में हिमस्खलन की पुनर्रावृत्ति की चेतावनी दे रहा था। विभाग के अधिकारियों का यह भी कहना था कि भूस्खलन के कारण भी तबाही हो सकती है। ऐसे में जिन जिलों के लिए चेतावनी जारी की गई है वहां के लोगों को सावधान रहने के लिए कहा गया है।