निजी क्षेत्र की नौकरी में 75% कोटा: हरियाणा सरकार HC के स्टे के खिलाफ पहुंची SC, कहा- महज 90 सेकंड में दे दिया फैसला
By मनाली रस्तोगी | Published: February 4, 2022 11:47 AM2022-02-04T11:47:32+5:302022-02-04T11:50:32+5:30
हरियाणा सरकार ने शुक्रवार को हाई कोर्ट के आदेश को चुनौती देते हुए सुप्रीम कोर्ट का रुख किया। बता दें कि राज्य सरकार द्वारा निजी क्षेत्र की नौकरियों में स्थानीय लोगों को 75 फीसदी कोटा प्रदान करने वाले कानून पर गुरुवार को पंजाब और हरियाणा हाई कोर्ट ने रोक लगा दी थी।
नई दिल्ली: हरियाणा सरकार द्वारा निजी क्षेत्र की नौकरियों में स्थानीय लोगों को 75 फीसदी कोटा प्रदान करने वाले कानून पर गुरुवार को पंजाब और हरियाणाहाई कोर्ट ने रोक लगा दी थी। अब शुक्रवार को हाई कोर्ट के आदेश को चुनौती देते हुए राज्य सरकार ने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया। समाचार एजेंसी एएनआई ने इस बात की जानकारी दी।
Haryana Govt moves Supreme Court challenging the Punjab & Haryana High Court's order staying the state law on providing 75% quota to locals in private sector jobs pic.twitter.com/t8xMyWyKdo
— ANI (@ANI) February 4, 2022
रिपोर्ट के अनुसार, हरियाणा सरकार की ओर से पेश सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने आज सीजेआई एनवी रमना बेंच के समक्ष मामले का उल्लेख करते हुए कहा कि कल हाई कोर्ट ने मुझे महज 90 सेकंड सुनने के बाद फैसला दे दिया और अधिनियम पर रोक लगा दी। अभी आदेश आया नहीं है। फैसले की कॉपी हम लाएंगे। सोमवार को मामले की सुनवाई की जाए। ऐसे में सॉलिसिटर जनरल के अनुरोध को लेकर सीजेआई ने कहा कि अगर फैसले की कॉपी आती है तो सोमवार को सुनवाई करेंगे।
On request of the Solicitor General, Supreme Court lists the matter for hearing on Monday, 7th February subject to placing an order of the High Court on record.
— ANI (@ANI) February 4, 2022
गौरतलब है कि गुरुवार को पंजाब और हरियाणा हाई कोर्ट ने हरियाणा सरकार के प्राइवेट नौकरियों में स्थानीय लोगों के लिए 75 फीसदी आरक्षण वाले कानून रोक लगा दी थी। बता दें कि पिछले साल हरियाणा सरकार ने प्राइवेट नौकरियों में 75 फीसदी आरक्षण वाले कानून की अधिसूचना जारी की थी, जिसके बाद पूरे प्रदेश में यह नियम 15 जनवरी 2022 से लागू होना था। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, हरियाणा सरकार ने इस नियम के तहत राज्य के युवाओं को 30 हजार रुपये तक की सैलरी वाली निजी नौकरियों में 75 प्रतिशत आरक्षण का लाभ मिलना था।
बताते चलें कि हरियाणा सरकार ने पिछले साल कहा था कि इस नए कानून के तहत सभी कंपनियां, सोसायटी, ट्रस्ट, लिमिटेड लायबिलिटी पार्टनरशिप फर्म, पार्टनरशिप फर्म और 10 या अधिक को रोजगार देने वाला कोई भी व्यक्ति और या संस्था इस अधिनियम के दायरे में लाया जाएगा। यही नहीं, इस कानून में उद्योगपतियों के सुझावों पर कुछ बदलाव भी किए गए थे। रिपोर्ट्स के अनुसार, राज्य के उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला ने कहा था कि यह नियम हजारों युवाओं के लिए रोजगार के नए रास्ते खोलेगा।