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एलओसी पर हिमस्खलन में चार जवान शहीद, बचाए गए 3 की दशा नाजुक

By सुरेश एस डुग्गर | Updated: December 5, 2019 01:30 IST

उत्तरी कश्मीर में एलओसी के साथ सटे करनाह (कुपवाड़ा) और गुरेज (बांडीपोरा) में मंगलवार को हुए हिमस्खलन में चार सैनिक शहीद हो गए।

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ठळक मुद्देकश्मीर में मंगलवार को एलओसी पर अलग-अलग हुई हिमस्खलन की दो घटनाओं में चार जवान शहीद हो गए।जबकि इसकी चपेट में आकर लापता हुए अन्य चार जवानों को सुरक्षित निकाल कर अस्पताल में भर्ती कराया गया है।

पाकिस्तान से सटी 814 किमी लंबी एलओसी पर आज हुए हिमस्खलन में भारतीय सेना के चार जवान शहीद हो गए। बचाए गए 3 जवानों की दशा नाजुक है। इस साल एलओसी पर हुए हिमस्खलन अर्थात बर्फ के तौंदों में दब जाने से दर्जनभर जवान जानें गंवा चुके हैं।

उत्तरी कश्मीर में एलओसी के साथ सटे करनाह (कुपवाड़ा) और गुरेज (बांडीपोरा) में मंगलवार को हुए हिमस्खलन में चार सैनिक शहीद हो गए। सेना के अधिकारी ने कहा कि हिमस्खलन की चपेट में आने के बाद बांदीपोरा जिले के गुरेज़ सेक्टर में तीन सैन्यकर्मी लापता हो गए थे जबकि चार जवानों को बचा लिया गया। बचाए गए सैन्यकर्मियों में से तीन ही हालत अभी भी गंभीर बनी हुई है। हिमस्खलन में अग्रिम सैन्य चौकियों को भी नुकसान पहुंचा है।

कश्मीर में मंगलवार को एलओसी पर अलग-अलग हुई हिमस्खलन की दो घटनाओं में चार जवान शहीद हो गए। जबकि इसकी चपेट में आकर लापता हुए अन्य चार जवानों को सुरक्षित निकाल कर अस्पताल में भर्ती कराया गया है। एसएसपी श्रीराम दिनकर ने बताया कि चार जवान हिमस्खलन में दब गए थे। एक का शव मंगलवार रात ही बरामद कर लिया गया है। एक जवान को सुरक्षित निकालकर अस्पताल भेजा गया है। वहीं बुधवार को दो जवानों के शहीद होने की खबर मिली। टंगधार में भारतीय सेना के जवान राजेंद्र सिंह, अमित और कमल कुमार शहीद हो गए। वहीं बांडीपोरा जिले के गुरेज सेक्टर के बख्तूर इलाके में बर्फीले तूफान की चपेट में आने से जवान अखिल शहीद हो गए है।

सैन्य सूत्रों ने बताया कि कुपवाड़ा जिले के टंगधार सेक्टर में एलओसी के ईगल पोस्ट पर मंगलवार सुबह आए हिमस्खलन में सेना की दो जाट रेजीमेंट के चार जवान दब गए। सूचना मिलते ही पास की पोस्ट से जवानों को बचाव कार्य के लिए भेजा गया। इसके साथ ही प्रशिक्षित जवानों को भी लगाया गया। हेलीकॉप्टर की भी मदद ली गई।

इससे पहले नवंबर में सियाचिन ग्लेशियर में आए हिमस्खलन में चार जवान शहीद हो गए थे। दो पोर्टरों की भी मौत हुई थी। बाद में हुई अन्य घटना में दो सैनिक शहीद हो गए थे।

अभी तक हुई हिमस्खलन की घटनाएं:-

30 नवंबर, 2019 - सियाचिन ग्लेशियर में भारी हिमस्खलन में सेना की पेट्रोलिंग पार्टी के दो जवान शहीद।

18 नवंबर, 2019 - सियाचिन में हिमस्खलन की चपेट में आकर चार जवान शहीद, दो पोर्टर भी मारे गए।

10 नवंबर, 2019 - उत्तरी कश्मीर के कुपवाड़ा में हिमस्खलन की चपेट में आकर सेना के दो पोर्टरों की मौत।

31 मार्च, 2019 - उत्तरी कश्मीर के कुपवाड़ा में हिमस्खलन में दबकर मथुरा के हवलदार सत्यवीर सिंह शहीद।

3 मार्च, 2019 - करगिल के बटालिक सेक्टर में ड्यूटी के दौरान हिमस्खलन में पंजाब के नायक कुलदीप सिंह शहीद।

8 फरवरी, 2019 - जवाहर टनल पुलिस पोस्ट हिमस्खलन की चपेट में आई, 10 पुलिसकर्मी लापता, आठ बचाए गए।

3 फरवरी, 2016 - हिमस्खलन से 10 जवान शहीद, बर्फ से निकाले गए लांस ना यक हनुमनथप्पा ने छह दिन बाद दम तोड़ दिया।

16 मार्च, 2012 - सियाचिन में बर्फ में दबकर छह जवान हुए शहीद।

टॅग्स :जम्मू कश्मीर
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