भारतीय किसान संघ के नेता राकेश टिकैत ने रविवार को कहा कि देश भर में 31 जनवरी (सोमवार) को 'विश्वासघात दिवस' मनाया जाएगा। किसान आंदोलन के नेता ने कहा, केंद्र सरकार ने प्रदर्शन कर रहे किसानों से किए गए वादों को पूरा नहीं किया है।
इसके अलावा, टिकैत ने यह भी कहा कि 9 दिसंबर, 2021 को एक पत्र में किए गए केंद्र के वादों के आधार पर प्रदर्शनकारी किसान दिल्ली की सीमाओं पर अपने एक साल से अधिक के विरोध प्रदर्शन से हट गए, लेकिन सरकार की ओर से वादे अभी तक पूरे नहीं हुए हैं।
रविवार को राकेश टिकैत ने अपने ट्विटर पर लिखा, सरकार द्वारा किसानों से वादाखिलाफी के खिलाफ कल 31 जनवरी को देशव्यापी "विश्वासघात दिवस" मनाया जाएगा। सरकार के 9 दिसंबर के जिस पत्र के आधार पर आन्दोलन स्थगित किया गया था, सरकार ने उनमें से कोई वादा पूरा नहीं किया है।
नवंबर 2021 में, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने घोषणा की कि केंद्र तीन विवादास्पद कृषि कानूनों को वापस लेगा। बता दें कि केंद्र द्वारा लाए गए कृषि कानूनों के खिलाफ संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम) के नेतृत्व में कई किसान संगठनों ने दिल्ली बॉर्डर में विरोध प्रदर्शन किया था।
पीएम मोदी की घोषणा के बाद, 29 नवंबर, 2021 को शीतकालीन सत्र के पहले दिन संसद के दोनों सदनों में कृषि कानून निरसन विधेयक, 2021 पारित होने के बाद तीन कानूनों को निरस्त कर दिया गया था। इसके अलावा, केंद्र ने यह भी कहा था कि न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) के लिए एक समिति का गठन किया जाएगा।